गुणों का खजाना है शकरकंद, सेवन से शरीर रहेगा स्वस्थ

New Delhi, 29 अक्टूबर . अक्टूबर के महीने से ही बाजारों में शकरकंद मिलनी शुरू हो जाती है, जो खाने में थोड़ी मिट्टी और मुलायम होती है.

शकरकंद का सेवन हर उम्र के लोग कर सकते हैं, लेकिन क्या आप जानते हैं कि सर्दियों में शकरकंद खाना कितना फायदेमंद होता है. शकरकंद सर्दियों में होने वाले संक्रमण से बचाती है और शरीर को गर्म रख ऊर्जा प्रदान करती है.

आयुर्वेद में शकरकंद को लेकर कहा गया है कि ये वात और कफ दोष को संतुलित करता है. इसका वैज्ञानिक नाम इपोमिया बटाटास है और कई जगह इसे मीठा आलू और अंग्रेजी में स्वीट पोटैटो कहते हैं. खास बात ये है कि शकरकंद स्वाद में मीठी होती है लेकिन फिर भी सीमित मात्रा में शुगर के मरीज भी इसका सेवन कर सकते हैं. आयुर्वेद में शकरकंद को सात्विक खाने की श्रेणी में रखा गया है, इसी वजह से इसे व्रत में खाया जा सकता है.

शकरकंद में कई तरह के पोषक तत्व होते हैं, जो इसे सुपरफूड बनाते हैं. इसमें बीटा कैरोटीन, विटामिन बी-कॉम्प्लेक्स, विटामिन सी और आयरन भरपूर मात्रा में होते हैं, जो शरीर को कई तरह के लाभ पहुंचाते हैं. अगर कब्ज बनने और पेट साफ होने में परेशानी होती है तो शकरकंद का सेवन किया जा सकता है. ये आंतों को साफ करने और पाचन शक्ति को दुरुस्त करने का काम करता है. इसका सेवन उबालकर या आंच पर भूनकर भी किया जा सकता है.

शकरकंद यूरिनरी ट्रैक्ट इंफेक्शन (यूटीआई) से बचाने में भी सहायक है. कई लोगों को पेशाब करते वक्त जलन का अहसास होता है या खुलकर पेशाब नहीं आता है. ऐसे में शकरकंद लाभकारी होता है. आयुर्वेद में इसकी जड़ का इस्तेमाल भी यूटीआई में किया जाता है, लेकिन इसके फल को खाकर भी इन रोगों से राहत पाई जा सकती है. इसके लिए शकरकंद का सूप बनाकर लिया जा सकता है.

शकरकंद में भरपूर बीटा कैरोटीन होता है, जो त्वचा के काले धब्बों को हल्का करता है और बालों की चमक को बढ़ाता है. अगर बालों और स्किन से जुड़ी कोई समस्या है तो सर्दियों में इसका सेवन किया जा सकता है. सेवन के अलावा कच्ची शकरकंद को सिलबट्टे पर घिसकर उसका फेसपैक भी बनाकर लगा सकते हैं. इसके अलावा इसमें पोटेशियम भी होता है, जो दिल को स्वस्थ रखने में मदद करता है. यह खराब कोलेस्ट्रॉल को कम करके दिल पर बनने वाले दबाव को कम करता है.

पीएस/एएस