लिवरपूल, 13 सितंबर . विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप में महिला मुक्केबाजों ने देश के लिए स्वर्ण पदक की उम्मीद जगा दी है. मीनाक्षी (महिला 48 किग्रा), जैस्मीन लैम्बोरिया (महिला 57 किग्रा) और नूपुर (महिला 80 किग्रा) ने अपने-अपने सेमीफाइनल जीतकर फाइनल में जगह बनाई है. फाइनल में इनसे खिताब की उम्मीद बढ़ गई है.
मीनाक्षी ने मंगोलिया की अल्तांत्सेत्सेग लुत्सेखान को 5:0 से हराया. जैस्मीन ने वेनेजुएला की ओमेलिन कैरोलिना अल्काला सेगोविया को 5:0 से हराया. वहीं, नूपुर ने तुर्की की सेयमा दुज्तास को कड़ी टक्कर दी.
महिलाओं के 48 किग्रा सेमीफाइनल में, मीनाक्षी ने दो बार की एशियाई कांस्य पदक विजेता लुत्साईखान को तीनों राउंड में से किसी में भी लय हासिल नहीं करने दी और पूरी तरह से दबदबा बनाते हुए सर्वसम्मत निर्णय हासिल किया.
अन्य दो सेमीफाइनल में भी यही स्थिति रही. जैस्मीन और नूपुर दोनों ही अपने मुकाबलों के दौरान कभी भी दबाव में नहीं दिखीं.
Saturday रात को होने वाले फाइनल में, जैस्मीन का सामना पेरिस ओलंपिक की रजत पदक विजेता पोलैंड की जूलिया सेरेमेटा से होगा, जबकि नूपुर का सामना एक अन्य पोलिश मुक्केबाज, कई बार की यूरोपीय चैंपियनशिप पदक विजेता काजमारस्का से होगा.
प्रतियोगिता में पदक पक्का करने वालों में पूजा रानी (80 किग्रा) भी शामिल है. पूजा सेमीफाइनल मुकाबला खेलेंगी.
पुरुषों के 50 किग्रा वर्ग में, जदुमणि सिंह मंदेंगबाम को क्वार्टर फाइनल में पूर्व विश्व चैंपियन और दो बार के एशियाई चैंपियन कजाकिस्तान के संझार ताशकेनबे को हराना था. अपनी पहली विश्व चैंपियनशिप में खेल रहे 21 वर्षीय भारतीय ने अपने अनुभवी प्रतिद्वंद्वी को कड़ी टक्कर दी, लेकिन हार से बच नहीं सके.
भारत ने हाल ही में गठित अंतरराष्ट्रीय मुक्केबाजी शासी निकाय, विश्व मुक्केबाजी के तत्वावधान में आयोजित होने वाली पहली विश्व चैंपियनशिप में 20 सदस्यीय दल उतारा है और पुरुष और महिला दोनों वर्गों में अच्छे प्रदर्शन की उम्मीद कर रहा है. भारतीय टीम ने कजाकिस्तान के अस्ताना में हुए विश्व मुक्केबाजी में कप अच्छा प्रदर्शन किया था. विश्व मुक्केबाजी चैंपियनशिप में भी महिला मुक्केबाजों ने अपना दबदबा दिखाया है.
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पीएके/