अग्निवीर को लेकर कौन बोल रहा झूठ? सरकार ने किया साफ – ‘शहीदों को मिल रहा 1 करोड़ मुआवजा’

नई दिल्ली, 1 जुलाई . अग्निवीर भर्ती का मामला चुनाव के समय भी खूब उछला. इंडी गठबंधन के नेता तो चुनाव प्रचार के दौरान यह दावा करते रहे कि उनकी सरकार आएगी तो इस योजना को फाड़कर डस्टबिन में फेंक दिया जाएगा. ऐसे में लोकसभा में सोमवार को एक बार फिर नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने अग्निवीर योजना को लेकर सवाल उठाए. जिसका जवाब रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने दिया.

राहुल गांधी ने सदन में कहा कि अग्निवीरों को सरकार शहीद का दर्जा नहीं देती, साथ ही उन्हें मुआवजा भी नहीं दिया जाता. ऐसे में कांग्रेस सत्ता में आएगी तो सेना में भर्ती के लिए जारी इस योजना को हटाएगी. राहुल गांधी ने तो संसद में यहां तक कह दिया कि अग्निवीर सेना की नहीं पीएमओ की स्कीम है. उन्होंने सरकार के लिए अग्निवीरों को ‘यूज एंड थ्रो मजदूर’ बताया.

राहुल के इस बयान पर संसद में रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि अग्निवीर शहीद को एक करोड़ मुआवजा दिया जाता है. उन्होंने राहुल गांधी पर गलतबयानी का आरोप लगा दिया. उन्होंने कहा कि राहुल गांधी सदन को गुमराह कर रहे हैं.

राहुल गांधी द्वारा सदन में अग्निवीर को लेकर दिए गए बयान पर खूब हंगामा मचा और स्पीकर से राहुल गांधी और राजनाथ सिंह के बयान की सत्यता की जांच की मांग भी अमित शाह और किरेन रिजिजू ने की. दोनों ने कहा कि ऐसे ही राहुल गांधी गलतबयानी करके बचकर नहीं जा सकते. ऐसे में उनके बयानों की सत्यता की जांच होनी चाहिए.

राजनाथ सिंह ने सदन में कहा कि मैं नेता प्रतिपक्ष से विनम्रतापूर्वक अनुरोध करना चाहता हूं कि कृपया वो संसद को गुमराह करने की कोशिश न करें. अग्निवीर योजना के संबंध में बहुत सारे लोगों से, 158 संस्थाओं के साथ सीधा संवाद स्थापित किया गया, उनके सुझाव लिए गए, तब यह अग्निवीर योजना लाई गई है. बहुत सोच-समझकर यह योजना लाई गई है. ऐसे में बिना अग्निवीर योजना के बारे में समझे, बिना उस संबंध में कोई पूरी जानकारी हासिल किए, इस तरीके से सदन को गुमराह करना, इसे कदापि उचित नहीं ठहराया जा सकता. अध्यक्ष महोदय, मैं तो आपसे यह अनुरोध करूंगा कि इसे सदन की कार्यवाही से बाहर निकाला जाना चाहिए.

अब सेना की वेबसाइट पर नजर डालें तो अग्निवीरों के शहीद होने पर उनके परिवार को जो सुविधाएं मिलती हैं, उनके बारे में जिक्र है. अगर अग्निवीर की ड्यूटी के दौरान मृत्यु हो जाती है तो उन्हें 48 लाख रुपए का बीमा कवर और 44 लाख रुपए की अनुग्रह राशि मिलती है. इसके साथ ही 4 साल तक का पूर्ण वेतन एवं सेवा निधि और सेवा निधि कोष में जमा राशि और सरकार का योगदान मिलता है.

इसके साथ ही अग्निवीर की ड्यूटी के दौरान मृत्यु नहीं होती है तो उन्हें 48 लाख का बीमा कवर और सेवा निधि कोष में जमा राशि के साथ सरकार का योगदान मिलता है. इसके साथ ही अगर ड्यूटी के दौरान अग्निवीर विकलांग हो जाता है तो उन्हें विकलांगता के आधार पर 50, 75,100 प्रतिशत की अनुग्रह राशि यानी 15 लाख, 25 लाख और 44 लाख रुपए प्रदान करने के साथ 4 साल तक का पूर्ण वेतन और सेवा निधि और सेवा निधि कोष में जमा राशि और सरकार का योगदान मिलता है.

जीकेटी/