पटना, 1 फरवरी . केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को पेश किए गए केंद्रीय बजट में मिथिला की पश्चिमी कोसी नहर के विस्तारीकरण, पुनर्स्थापन एवं आधुनिकीकरण के लिए राज्य सरकार को वित्तीय सहायता उपलब्ध कराने की घोषणा की.
इसका बिहार के जल संसाधन मंत्री विजय कुमार चौधरी और विभाग के प्रधान सचिव संतोष कुमार मल्ल ने स्वागत करते हुए कहा कि इस महत्वाकांक्षी सिंचाई परियोजना से मधुबनी जिले के 20 और दरभंगा जिले के 16 प्रखंडों के किसान लाभान्वित होंगे.
जल संसाधन मंत्री विजय कुमार चौधरी ने बताया कि पश्चिमी कोसी नहर परियोजना मिथिला की एक प्रमुख सिंचाई परियोजना है. पश्चिमी कोसी मुख्य नहर नेपाल के भीमनगर में कोसी बराज के दाएं हेड रेगुलेटर से निकलती है. जल संसाधन विभाग की योजना में पश्चिमी कोसी नहर के विस्तारीकरण, पुनर्स्थापन एवं आधुनिकीकरण (ईआरएम) कार्य का प्रस्ताव है. इसके अंतर्गत मुख्य नहर और शाखा नहरों के साथ-साथ आवश्यकता के मुताबिक वितरण प्रणालियों में भी कंक्रीट लाइनिंग कार्य के साथ-साथ मुख्य नहर एवं शाखा नहर के सेवापथ के पक्कीकरण का प्रावधान है.
उन्होंने कहा, “इस योजना में आवश्यकतानुसार निर्मित संरचनाओं की मरम्मत एवं पुनर्स्थापन का भी प्रावधान किया गया है. नहरों के विस्तारीकरण से मधुबनी और दरभंगा जिलों में सिंचाई क्षमता में वृद्धि होगी. नहरों के विस्तारीकरण के बाद इस योजना के अंतर्गत कुल सिंचाई क्षमता 3,97,877 हेक्टेयर हो जाएगी. वर्तमान में सिंचाई क्षमता 2,70,474 हेक्टेयर है, जिसमें 1,27,403 हेक्टेयर की वृद्धि होगी.”
उन्होंने बताया कि इस महत्वाकांक्षी सिंचाई योजना से मधुबनी जिले के अंधराठाढी, बाबूबरही, बासोपट्टी, बेनीपट्टी, बिस्फी, घोघरडीहा, हरलाखी, झंझारपुर, कलुआही, खजौली, लदनिया, लखनौर, लौकहा, लौकही, मधेपुर, रहिका, मधवापुर, पंडौल, फुलपरास एवं राजनगर तथा दरभंगा जिला अंतर्गत अलीनगर, बहादुरपुर, बहेड़ी, बेनीपुर, बिरौल, घनश्यामपुर, दरभंगा सदर, गौराबौराम, हनुमान नगर, हायाघाट, केवटी, किरतपुर, मनीगाछी, कुशेश्वरस्थान, कुशेश्वर स्थान पूर्वी एवं तारडीह प्रखंडों के लाखों किसान लाभान्वित होंगे. योजना से संबंधित प्रस्ताव केंद्रीय जल आयोग नई दिल्ली में समर्पित हैं, जिस पर आवश्यक कार्रवाई प्रक्रियाधीन है.
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एमएनपी/एबीएम