लखनऊ, 9 मार्च . उत्तर प्रदेश सरकार प्रधानमंत्री मातृत्व वंदन योजना (पीएमएमवीवाई) 2.0 के तहत गर्भवती और धात्री महिलाओं को आर्थिक सहायता प्रदान कर रही है. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश पर इस योजना का क्रियान्वयन तेजी से किया जा रहा है, जिससे लाखों महिलाएं लाभान्वित हो रही हैं.
प्रधानमंत्री मातृत्व वंदना योजना 2.0 से वंचित वर्ग की महिलाओं को आर्थिक संबल मिल रहा है, जिससे वे गर्भावस्था के दौरान सही पोषण और देखभाल प्राप्त कर सकें. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में उत्तर प्रदेश सरकार इस योजना को और प्रभावी बनाने के लिए लगातार प्रयासरत है.
राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) के तहत सिफ्सा द्वारा 1 जनवरी 2025 को आईसीडीएस विभाग के एसएनए खाते में 275.16 करोड़ रुपये हस्तांतरित किए गए थे. इसके बाद, 22 जनवरी 2025 से लाभार्थियों को डीबीटी के माध्यम से सीधे बैंक खातों में राशि भेजने की प्रक्रिया शुरू हुई. अब तक 4,05,379 महिलाओं को कुल 135.31 करोड़ रुपए की धनराशि हस्तांतरित की जा चुकी है. इस योजना के तहत पहले प्रसव पर 5,000 रुपये दो किस्तों में और दूसरे प्रसव पर बालिका के जन्म पर 6,000 रुपये एकमुश्त प्रदान किए जाते हैं.
योजना के क्रियान्वयन में तेजी लाने के लिए मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने जिलाधिकारियों को सभी लंबित मामलों की समीक्षा कर उन्हें शीघ्र निस्तारित करने के निर्देश दिए हैं. 7 मार्च 2025 तक 31,436 मामले लंबित हैं, जिनमें सुपरवाइजर स्तर पर – 23,694 मामले, सीडीपीओ (एसओ) स्तर पर 7,411 मामले और एसएनओ स्तर पर 321 मामले लंबित हैं.
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में यूपी सरकार प्रधानमंत्री मातृत्व वंदना योजना को जमीनी स्तर पर प्रभावी बनाने के लिए प्रतिबद्ध है. सरकार की मंशा है कि योजनान्तर्गत हर पात्र महिला को सहायता मिले और कुपोषण को रोका जाए.
– सीधे डीबीटी से महिलाओं के खातों में जा रही धनराशि
– प्रशासनिक स्तर पर लंबित मामलों को निस्तारित करने के आदेश
– गर्भवती महिलाओं को आर्थिक सहायता से पोषण और देखभाल की जा रही सुनिश्चित
– योगी सरकार की प्राथमिकता -मातृ एवं शिशु स्वास्थ्य सुरक्षा
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