तेलंगाना लोकसभा चुनाव में भाजपा, कांग्रेस के बीच होगी सीधी टक्कर : किशन रेड्डी

हैदराबाद, 11 फरवरी . तेलंगाना भाजपा अध्यक्ष और केंद्रीय मंत्री जी. किशन रेड्डी ने रविवार को भविष्यवाणी की कि राज्य में आगामी लोकसभा चुनाव में उनकी पार्टी और कांग्रेस के बीच सीधी टक्कर होगी.

20 फरवरी से शुरू होने वाली भाजपा विजय संकल्प यात्रा के संबंध में पोस्टर जारी करने वाले किशन रेड्डी ने दावा किया कि देशभर के सभी लोकसभा क्षेत्रों में भाजपा के पक्ष में माहौल है और लोगों ने पहले ही आगामी चुनावों में कमल को वोट देने का फैसला कर लिया है.

उन्होंने कहा कि तेलंगाना के युवा चाहते हैं कि नरेंद्र मोदी एक बार फिर प्रधानमंत्री बनें.

उन्होंने घोषणा की कि तेलंगाना के लोगों का समर्थन और आशीर्वाद पाने के लिए पांच संसद क्षेत्रों में पांच यात्राएं आयोजित की जाएंगी. ये यात्राएं 20 फरवरी से 1 मार्च तक होंगी.

यात्राओं को क्लस्टर अनुसार नाम दिए गए हैं. भुवनगिरि, मल्काजगिरि, सिकंदराबाद और हैदराबाद संसदीय क्षेत्रों के लिए यात्रा को भाग्यनगर कहा जाएगा. करीमनगर, मेडक, ज़हीराबाद और चेवेल्ला निर्वाचन क्षेत्रों को कवर करने वाली यात्रा को सातवाहन नाम दिया गया है.

इसी तरह, आदिलाबाद, पेद्दापल्ली और निज़ामाबाद निर्वाचन क्षेत्रों में यात्रा को कुमारम भीम यात्रा के नाम से जाना जाएगा.

किशन रेड्डी ने कहा कि लोकसभा चुनाव के लिए उम्मीदवारों का चयन भाजपा की केंद्रीय चुनाव समिति करेगी. उन्होंने कहा कि पार्टी ने अभी तक देश में कहीं भी उम्मीदवार की घोषणा नहीं की है.

|उन्होंने कहा कि भाजपा की राज्य चुनाव समिति और चुनाव प्रबंधन समिति चुनाव तैयारियों की समीक्षा के लिए सोमवार को बैठक करेगी.

कालेश्‍वरम परियोजना के बारे में एक प्रश्‍न का उत्तर देते हुए उन्होंने कहा कि भाजपा नेताओं ने अतीत में मेदिगड्डा बैराज का दौरा किया था और उन्हें एक बार फिर वहां जाने की कोई जरूरत नहीं है. उन्होंने कहा कि कृष्णा नदी जल बंटवारे का विवाद आंध्र प्रदेश और तेलंगाना के बीच बातचीत से सुलझाया जा सकता है.

उन्होंने राज्य की कांग्रेस सरकार पर हमला बोलते हुए आरोप लगाया कि सरकारी स्कूलों में बुनियादी सुविधाओं का अभाव है. उन्होंने दावा किया कि छात्रों के लिए शौचालय और पीने के पानी की कोई सुविधा नहीं है. छात्रावासों में भोजन की खराब गुणवत्ता और प्रदूषित पेयजल से छात्र परेशान हैं.

छात्रों द्वारा आत्महत्या की बढ़ती संख्या पर चिंता जताते हुए उन्होंने सरकार से इस चिंताजनक प्रवृत्ति को रोकने के लिए कदम उठाने की मांग की. यह दावा करते हुए कि केंद्र सरकार ने सरकारी स्कूलों में बुनियादी सुविधाएं उपलब्ध कराने के लिए धन मुहैया कराया है, उन्होंने कहा कि पिछली बीआरएस सरकार ने इन फंडों का दुरुपयोग किया.

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