कश्मीर घाटी में यात्री सवारी डिब्बों को अपग्रेड करने का काम 31 अगस्त तक हो जाएगा पूरा : केंद्र

New Delhi, 27 जुलाई . भारतीय रेलवे ने Sunday को कहा कि कश्मीर घाटी में यात्री सवारी डिब्बों को अपग्रेड करने का काम 31 अगस्त तक पूरा हो जाएगा और इस समय सीमा के भीतर सेवा में मौजूद सभी रेकों को रेनोवेट और अपग्रेड किया जाएगा.

रेल मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि जम्मू-श्रीनगर रेल लाइन के खुलने और अपग्रेड कार्यों से जम्मू-कश्मीर को एक नई लाइफलाइन मिलेगी.

रेल मंत्रालय के अनुसार, Prime Minister Narendra Modi ने 6 जून, 2025 को चिनाब और अंजी पुलों के साथ उधमपुर-श्रीनगर-बारामूला रेलवे लिंक परियोजना का उद्घाटन किया. यह कश्मीर घाटी और जम्मू के बीच संपर्क स्थापित करने में एक ऐतिहासिक मील का पत्थर है.

कटरा और श्रीनगर के बीच वंदे India Express Train इस मार्ग पर परिवहन का एक महत्वपूर्ण साधन बन गई है.

मंत्रालय ने बताया, “नई रेल सेवाओं के अलावा, इस लाइन के खुलने से कश्मीर घाटी में रेल पटरियों के रखरखाव की क्षमता में भी बुनियादी बदलाव आया है. इस रेलवे लिंक ने कश्मीर घाटी में ट्रैक रखरखाव मशीनों की आवाजाही को संभव बनाया है. पहले मैन्युअल रखरखाव के विपरीत, अब रखरखाव आधुनिक मशीनों से किया जा रहा है. इससे पटरियों की गुणवत्ता में सुधार हुआ है.”

देश भर में रेलवे पटरियों को अपग्रेड किया जा रहा है. बेहतर ट्रैक सुरक्षा से यात्रा की गुणवत्ता में सुधार हुआ है. वर्ष 2025 की शुरुआत तक, India के 78 प्रतिशत ट्रैक 110 किलोमीटर प्रति घंटे या उससे अधिक की गति तक अपग्रेड हो चुके होंगे. वर्ष 2014 में यह संख्या सिर्फ 39 प्रतिशत थी.

मंत्रालय ने कहा, “वर्ष 2014 में पटरियों की कुल लंबाई 79,342 किलोमीटर से बढ़कर 2025 में 1 लाख किलोमीटर से अधिक हो गई है.”

केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कहा, “हम ट्रैक तकनीक और रखरखाव प्रक्रियाओं को अपग्रेड कर ट्रैक की गुणवत्ता में सुधार करेंगे. आधुनिक ट्रैक फिटिंग, ट्रैक मशीनों का उपयोग, अल्ट्रा साउंड फ्रैक्चर डिटेक्शन मशीनें, रोड-कम-रेल वाहन और इंटीग्रेटेड ट्रैक माप मशीनें हमारे ट्रैक रखरखाव को साइंटिफिक बना देंगी.”

उन्होंने आगे कहा कि एआई का इस्तेमाल डिफेक्ट का पता लगाने में बड़े पैमाने पर किया जाएगा. इन तकनीकी परिवर्तनों से ट्रैक रखरखाव कर्मचारियों के लिए काम करने की स्थिति में काफी सुधार होगा.

एसकेटी/