New Delhi, 14 जुलाई . Supreme court से समाजवादी पार्टी (सपा) के नेता आजम खान को बड़ा झटका लगा. Supreme court ने आजम खान की याचिका खारिज कर दी. आजम खान ने अपनी याचिका में उत्तर प्रदेश में लंबित 2007 के भड़काऊ भाषण मामले की सुनवाई को दिल्ली ट्रांसफर करने की मांग की थी.
सपा नेता आजम खान के वकील ने Supreme court में अपनी दलील पेश करते हुए सबूतों के साथ छेड़छाड़ करने का आरोप लगाया. वकील ने कहा कि कथित भड़काऊ भाषण की फाइल रिकॉर्ड में वीडियो क्लिप के रूप में पेश की गई, लेकिन बाद में छेड़छाड़ करके उसे ऑडियो फाइल में बदल दिया गया.
इससे पहले अदालत ने आजम खान के खिलाफ चल रहे 27 मामलों के एक साथ ट्रायल को मंजूरी दे दी थी. आजम खान ने सेशन कोर्ट में रिवीजन एप्लीकेशन दाखिल की थी, जिसे कोर्ट ने स्वीकार कर लिया था. उनसे जुड़े 27 मुकदमों का मजिस्ट्रेट कोर्ट में जॉइंट ट्रायल होगा. जौहर यूनिवर्सिटी से जुड़े मामले में किसानों ने केस दर्ज कराए थे और इनकी एक साथ सुनवाई के लिए निगरानी याचिका कोर्ट में दाखिल की गई थी.
साल 2019 में डूंगरपुर बस्ती में रहने वाले लोगों ने उनके खिलाफ बस्ती को खाली कराने के नाम पर लूटपाट, चोरी, मारपीट समेत अन्य धाराओं में गंज थाने में 12 मुकदमे दर्ज कराए थे. इनमें से तीन मुकदमों में फैसला आ चुका है. दो मामलों में सपा नेता बरी हो चुके हैं, जबकि एक मामले में उन्हें सात साल कैद की सजा सुनाई जा चुकी है.
वहीं, पिछले दिनों डूंगरपुर प्रकरण से जुड़े एक अन्य मुकदमे में एमपी-एमएलए स्पेशल कोर्ट (सेशन ट्रायल) ने आजम खान को 10 साल की सजा सुनाई थी.
शासकीय अधिवक्ता ने बताया कि यह मामला 2019 में दर्ज हुआ था. जबकि, घटना 2016 की थी. वादी का आरोप था कि उनके घर में घुसकर जान से मारने की कोशिश और लूटपाट की गई थी. घर को जबरन खाली करवाया गया, बुलडोजर से घर तोड़ दिया गया था. जज ने आजम खान को दोषी मानते हुए सजा सुनाई.
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डीकेपी/एबीएम