एसआईआर का मुद्दा गंभीर, चर्चा से बच रही सरकार: नासिर हुसैन

New Delhi, 25 जुलाई . कांग्रेस के राज्यसभा सांसद सैयद नासिर हुसैन ने संसद में बिहार मतदाता सूची पुनरीक्षण (एसआईआर) को लेकर सरकार पर तीखा हमला बोला है.

उन्होंने कहा कि एसआईआर एक अत्यंत गंभीर मुद्दा है, जो मतदाताओं के नाम हटाने और नागरिकता जैसे संवेदनशील विषयों से जुड़ा है. यह मामला Supreme court में विचाराधीन है, फिर भी सरकार इस पर संसद में चर्चा से बच रही है.

हुसैन ने सवाल उठाया कि आखिर सरकार इस मुद्दे पर खुलकर बात करने को तैयार क्यों नहीं है, जबकि यह देश के लोकतंत्र, संवैधानिक अधिकारों और नागरिकों के मताधिकार से सीधे तौर पर जुड़ा है. विपक्ष बार-बार इस मुद्दे को संसद में उठा रहा है, लेकिन सरकार लगातार इसे टाल रही है. उन्होंने बताया कि विपक्ष ने संसद के दोनों सदनों में सर्वदलीय बैठकों में और नोटिस के जरिए इस पर चर्चा की मांग की है. हम हर दिन नोटिस दे रहे हैं, नियमों और प्रक्रियाओं का पालन करते हुए चर्चा की मांग कर रहे हैं, लेकिन सरकार चर्चा से भाग रही है. क्या यह मुद्दा देश के लोगों, गरीबों, दलितों, पिछड़ों और पीड़ितों के लिए महत्वपूर्ण नहीं है?”

उन्होंने यह भी कहा कि सरकार अन्य मुद्दों, जैसे ऑपरेशन सिंदूर और पहलगाम पर चर्चा के लिए समय निकाल सकती है, लेकिन एसआईआर जैसे गंभीर विषय पर चुप्पी साध लेती है. नासिर हुसैन ने कहा कि सरकार ने ऑपरेशन सिंदूर और पहलगाम आतंकी हमले पर चर्चा के लिए अभी तक कोई समय भी नहीं बताया है.

उन्होंने आगे कहा कि एसआईआर का मुद्दा केवल मतदाताओं के नाम हटाने तक सीमित नहीं है, बल्कि यह देश के लोकतंत्र और नागरिकता के अधिकारों का सवाल है. सरकार से अपील है कि वह विपक्ष द्वारा उठाए गए मुद्दों को गंभीरता से ले और संसद में इन पर खुली चर्चा कराए.

कांग्रेस सांसद सैयद नासिर हुसैन ने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि वह विपक्ष के सवालों का जवाब देने के बजाय झूठे आख्यान गढ़कर जनता को गुमराह करती है. देश के आर्थिक और सामाजिक विकास, बुनियादी सुविधाओं, दलितों और पिछड़ों के कल्याण जैसे मुद्दों पर भी सरकार को जवाब देना चाहिए. हम सरकार के साथ सहयोग करने को तैयार हैं, लेकिन सरकार को भी विपक्ष के मुद्दों को समायोजित करना चाहिए.

एकेएस/एएस