मीरजापुर, 12 दिसंबर . यूपी के मीरजापुर स्थित मां विंध्यवासिनी धाम में श्रद्धा और भक्ति का अद्वितीय उदाहरण देखने को मिला है. माता के एक भक्त ने मंदिर के गर्भगृह के निकास द्वार पर चांदी का भव्य दरवाजा लगवाया है. इस दरवाजे की कीमत लगभग 80 लाख रुपये है और इसका वजन 76 किलो 800 ग्राम है. यह दरवाजा बिहार राज्य के औरंगाबाद जिले के होटल व्यवसायी रविंद्र कुमार सिंह ने विशेष कारीगरों से तैयार करवाकर मां विंध्यवासिनी को भेंट किया.
इससे पहले, एक भक्त ने मां के दरबार में लाखों रुपये के सोने का चौखट लगवाया था और अब एक दूसरे भक्त ने चांदी का दरवाजा लगाकर मंदिर की भव्यता और बढ़ा दी है. इस दरवाजे का निर्माण विशेष कारीगरों द्वारा किया गया है, जो विंध्यधाम के धार्मिक महत्व को बढ़ाते हैं.
रविंद्र कुमार सिंह के तीर्थ पुरोहित सूर्य प्रसाद मिश्र ने बताया कि रविंद्र कुमार सिंह हमेशा मां विंध्यवासिनी के दर्शन और पूजा में गहरी श्रद्धा रखते हैं. उन्हें यह विचार आया कि मां के मंदिर के गर्भगृह के निकास द्वार पर चांदी का एक भव्य दरवाजा लगवाया जाए, जिससे मंदिर की भव्यता और बढ़ सके. इस विचार को लेकर उन्होंने अपने कारीगरों से यह दरवाजा तैयार करवाकर मां विंध्यवासिनी को भेंट किया.
वहीं, श्री विंध्य पंडा समाज के अध्यक्ष पंकज द्विवेदी ने बताया कि रविंद्र कुमार सिंह पिछले 40 वर्षों से हर महीने मां विंध्यवासिनी के दर्शन करने आते हैं. उन्होंने इस बार गर्भगृह के निकास द्वार पर 76 किलो 800 ग्राम चांदी से निर्मित भव्य दरवाजा लगवाया. पंकज द्विवेदी ने यह भी कहा कि मां विंध्यवासिनी उनकी सभी मनोकामनाओं को पूरी करें.
बता दें कि प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ड्रीम प्रोजेक्ट, विंध्य कॉरिडोर के निर्माण के बाद इस क्षेत्र में भक्तों और पर्यटकों की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है. इस कॉरिडोर के माध्यम से मंदिर के बाहरी भाग की सुंदरता बढ़ी है और अब अंदर के गर्भगृह और अन्य हिस्सों की भव्यता भी बढ़ाने के प्रयास किए जा रहे हैं. भक्तों द्वारा सोने और चांदी से बने चौखट और दरवाजों का लगवाना इस प्रयास का हिस्सा है, ताकि मंदिर का दिव्य और भव्य रूप दर्शकों और श्रद्धालुओं को और आकर्षित कर सके.
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पीएसके/एबीएम