रांची, 28 अप्रैल . केंद्र सरकार ने झारखंड के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) पद पर कार्यरत 1990 बैच के आईपीएस अनुराग गुप्ता की सेवा 30 अप्रैल, 2025 को समाप्त करने का निर्देश दिया है. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने इस संबंध में राज्य सरकार को पत्र भेजा है.
संभावना जताई जा रही है कि मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के 29 अप्रैल को विदेश से झारखंड लौटने के बाद राज्य सरकार इस संबंध में निर्णय लेगी. झारखंड सरकार ने 2 फरवरी, 2025 को अधिसूचना जारी कर अनुराग गुप्ता को दो वर्ष के कार्यकाल के लिए राज्य का नियमित पुलिस महानिदेशक नियुक्त किया था.
इसके पहले उन्हें 26 जुलाई 2024 को राज्य का कार्यवाहक डीजीपी बनाया गया था. इसके अलावा उन्हें आपराधिक अन्वेषण विभाग और भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो के महानिदेशक का भी अतिरिक्त प्रभार दिया गया था.
वर्ष 2024 में विधानसभा चुनाव के दौरान चुनाव आयोग ने उन्हें इस पद से हटा दिया था और 1989 बैच के आईपीएस अजय सिंह को डीजीपी नियुक्त किया था. बाद में, चुनावी प्रक्रिया संपन्न होते ही राज्य सरकार ने 28 नवंबर को एक बार फिर अनुराग गुप्ता को कार्यवाहक डीजीपी के रूप में बहाल कर दिया था.
इसके बाद 2 फरवरी, 2025 को सरकार की ओर से जारी अधिसूचना में उन्हें नियमित पुलिस महानिदेशक बनाया गया. इस अधिसूचना में कहा गया था, ”इस पद पर अनुराग गुप्ता का कार्यकाल ‘महानिदेशक एवं पुलिस महानिरीक्षक, झारखंड (पुलिस बल प्रमुख) का चयन एवं नियुक्ति नियमावली 2025’ के नियम 10 (1) के अनुरूप होगा.” इस नियमावली में डीजीपी का कार्यकाल 2 वर्ष निर्धारित है.
उल्लेखनीय है कि अनुराग गुप्ता को नियमित डीजीपी बनाए जाने के खिलाफ झारखंड विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष और भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने झारखंड हाईकोर्ट में अवमानना याचिका दायर कर रखी है. झारखंड हाईकोर्ट ने 24 मार्च को इस याचिका पर सुनवाई करते हुए राज्य सरकार और यूपीएससी सहित सभी प्रतिवादियों को नोटिस जारी किया था. इस मामले में कोर्ट में अगली सुनवाई 19 जून को निर्धारित है.
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एसएनसी/एबीएम