मुंबई, 12 फरवरी . घरेलू शेयर बाजार सोमवार को हरे निशान में खुले, लेकिन जल्द ही कमजोर वैश्विक संकेतों के बीच बिकवाली का दबाव देखा गया.
सोमवार को सेंसेक्स 523 अंक गिरकर 71,072.49 अंप पर बंद हुआ जबकि निफ्टी 166.45 अंक टूटकर 21,616.05 अंक पर रहा.
मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज के खुदरा अनुसंधान प्रमुख सिद्धार्थ खेमका ने कहा कि निफ्टी मिडकैप 100 में 2.5 फीसदी और निफ्टी स्मॉलकैप 100 में चार फीसदी की गिरावट के साथ व्यापक बाजार में तेजी से गिरावट आई. अस्थिरता सूचकांक – भारत वीआईएक्स – चार प्रतिशत उछलकर 16 के स्तर पर पहुंच गया.
आईटी और फार्मा को छोड़कर सभी सेक्टर लाल निशान में बंद हुए. उन्होंने कहा कि पिछले कुछ महीनों में तेज बढ़त और तीसरी तिमाही के कमजोर नतीजों के बाद कई निवेशकों द्वारा पीएसयू में भारी मुनाफावसूली देखी गई.
घरेलू स्तर पर खुदरा महँगाई और औद्योगिक उत्पादन के आँकड़ों से पहले निवेशक सावधानी बरत रहे हैं.
वैश्विक संकेत सुस्त हैं क्योंकि चंद्र नववर्ष की छुट्टियों के कारण इस सप्ताह अधिकांश एशियाई बाजार बंद हैं, जिससे वैश्विक निवेश कम रहा.
खेमका ने कहा, “कुल मिलाकर, हमें उम्मीद है कि निकट भविष्य में बाजार नकारात्मक पूर्वाग्रह के साथ मजबूत होगा.”
जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के शोध प्रमुख विनोद नायर ने कहा, एक्सचेंज मार्जिन आवश्यकताओं में बढ़ोतरी के कारण मुख्य रूप से मिड और स्मॉलकैप सूचकांकों में नरमी है.
उन्होंने कहा कि फार्मा और आईटी क्षेत्रों के अलावा, बिकवाली व्यापक थी, पीएसयू बैंकों में उल्लेखनीय संघर्ष देखा गया.
मिड और लार्जकैप के बीच प्रीमियम मूल्यांकन का अंतर अब तक के उच्चतम स्तर पर पहुंच गया है.
मजबूत आर्थिक पूर्वानुमान के बावजूद, मध्यम परिचालन मार्जिन के कारण कॉर्पोरेट आय धीमी होने की उम्मीद है. व्यापक बाजार के लिए प्रीमियम मूल्यांकन को बनाए रखना एक चुनौती होगी. उन्होंने कहा कि एकीकरण के बीच लार्जकैप में तेजी आने का अनुमान है.
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एकेजे/