राफा पर हमले का खतरा मंडराता देख अमेरिका ने सुरक्षा परिषद में गाजा प्रस्ताव पर वीटो किया

संयुक्त राष्ट्र, 21 फरवरी . राफा पर इजरायली हमले की आशंका के बीच, जहां दस लाख से ज्‍यादा फिलिस्तीनी छिपे हुए हैं, अमेरिका ने मंगलवार को सुरक्षा परिषद में नागरिकों के “जबरन विस्थापन” का विरोध करते हुए वीटो कर दिया और गाजा में तत्काल मानवीय युद्धविराम का आह्वान किया.

सुरक्षा परिषद में अमेरिका अलग-थलग पड़ गया, जहां अरब देशों की ओर से एलेग्रिया द्वारा प्रस्तावित प्रस्ताव को 13 वोट मिले, जबकि 15 सदस्यीय परिषद में ब्रिटेन गैरहाजिर रहा.

अमेरिकी स्थायी प्रतिनिधि लिंडा थॉमस-ग्रीनफील्ड ने वीटो के बारे में बताते हुए कहा कि यह प्रस्ताव गाजा में बंधकों को रिहा करने और इसे सुविधाजनक बनाने के लिए युद्धविराम और मानवीय सहायता भेजने के लिए कतर और मिस्र की भी भागीदारी के साथ होने वाली बातचीत में बाधा उत्पन्न करेगा.

उन्होंने कहा कि वाशिंगटन एक वैकल्पिक प्रस्ताव पेश करेगा.

यह गाजा पर अमेरिका, ब्रिटेन, रूस या चीन द्वारा वीटो झेलने वाला छठा प्रस्ताव था.

मानवीय सहायता के प्रावधान की मांग करने वाले केवल दो को ही अपनाया गया है.

अल्जीरिया के स्थायी प्रतिनिधि अमर बेंडजामा ने कहा कि उनके प्रस्ताव के खिलाफ वोट का अर्थ “उनके खिलाफ क्रूर हिंसा और सामूहिक दंड का समर्थन है.”

उन्होंने कहा, “आज प्रत्येक फिलिस्तीनी मौत, विनाश और नरसंहार का लक्ष्य है. हममें से प्रत्येक यह तय करता है कि इतिहास के इस दुखद अध्याय में कहां खड़ा होना है.”

राफा पर हमले की धमकी के साथ वीटो किए गए प्रस्ताव में “अंतर्राष्ट्रीय कानून का उल्लंघन करते हुए फिलिस्तीनी नागरिक आबादी के जबरन विस्थापन” का विरोध किया गया.

इसमें नागरिकों पर हमलों की सामान्यीकृत निंदा शामिल थी.

प्रस्ताव में पिछले महीने विश्‍व न्यायालय की घोषणा का भी संदर्भ दिया गया, जिसमें इजरायल को गाजा में “नरसंहार” को रोकने के लिए कदम उठाने और वहां के लोगों को मानवीय सहायता की अनुमति देने का आदेश दिया गया था.

संस्था, जिसे औपचारिक रूप से अंतर्राष्ट्रीय न्यायालय के रूप में जाना जाता है, इस समय फिलिस्तीनी क्षेत्रों पर इजरायल के कब्जे पर सुनवाई कर रही है.

इसके मसौदे पर तीन सप्ताह की बातचीत के बाद वीटो किए गए प्रस्ताव में 7 अक्टूबर को गाजा से इजरायल पर आतंकवादी हमले में हमास द्वारा लिए गए बंधकों को रिहा करने की भी मांग की गई, जिसमें लगभग 1,200 लोग भी मारे गए. इसके बाद इजरायल ने गाजा पर जवाबी हमला किया, जिसमें 29,000 लोग मारे गए, जिनमें ज्यादातर महिलाएं और बच्चे थे. उसने फिलिस्तीनियों को हमले से बचने के लिए दक्षिण की ओर जाने का आदेश दिया.

संयुक्त राष्ट्र के अनुसार, गाजा की 23 लाख की आबादी में से आधे से अधिक राफा में शरण लिए हुए है.

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