पुरुषों में भी स्तन कैंसर का खतरा : शोध

नई दिल्ली, 28 जुलाई . पुरुषों के लिए स्क्रीनिंग दिशानिर्देशों को बढ़ाने की मांग करने वाले एक शोध में कहा गया है कि आमतौर पर ब्रेस्ट कैंसर और ओवेरियन कैंसर से जुड़े बीआरसीए1 और बीआरसीए2 आनुवंशिक उत्परिवर्तन जीन का जोखिम पुरुषों में भी हो सकता है.

शोध में बताया गया है कि आमतौर महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर और ओवेरियन कैंसर से जुड़े बीआरसीए1 और बीआरसीए2 आनुवंशिक उत्परिवर्तन पुरुषों में भी कैंसर का जोखिम पैदा करते हैं.

फ्रेड हच कैंसर सेंटर और वाशिंगटन विश्वविद्यालय के विशेषज्ञों द्वारा जेएएमए ऑन्कोलॉजी में प्रकाशित एक लेख के अनुसार, नए राष्ट्रीय स्क्रीनिंग दिशानिर्देशों का उद्देश्य आनुवंशिक परीक्षण और विशेष कैंसर स्क्रीनिंग के माध्यम से पुरुषों में इन जोखिमों की पहचान करना है.

फ्रेड हच के प्रोस्टेट कैंसर जेनेटिक्स क्लिनिक की निदेशक हीदर चेंग ने कहा कि पुरुषों को यह पता लगाने के लिए पर्याप्त आनुवंशिक परीक्षण नहीं मिल रहे हैं कि उनमें बीआरसीए1 या बीआरसीए2 जीन वैरिएंट है या नहीं.

उन्‍होंने आगे कहा, ”लोग इसका कारण जानते हैं. वह हमेशा अपनी बेटियों का परीक्षण तो करवाते हैं, मगर अपने पर ध्‍यान नहीं देते.”

समीक्षा में बीआरसीए1 या बीआरसीए2 जीन में वंशानुगत हानिकारक वेरिएंट वाले पुरुषों के लिए जांच और उपचार दिशानिर्देशों की रूपरेखा दी गई है.

इसमें पुरुष वाहकों में प्रोस्टेट, अग्नाशय और स्तन कैंसर के बढ़ते जोखिम पर प्रकाश डाला गया है, जो सभी बीआरसीए1 या बीआरसीए2 उत्परिवर्तन वाहकों का 50 प्रतिशत प्रतिनिधित्व करते हैं.

हालांकि, पुरुषों के लिए मौजूदा परीक्षण दर महिलाओं के मुकाबले केवल दसवां हिस्सा है.

टीम ने पुरुषों से अपने परिवार के कैंसर के इतिहास के बारे में चिकित्सकों से चर्चा करने का भी आग्रह किया.

चेंग ने कहा कि पुरुषों में स्क्रीनिंग बढ़ाने से शीघ्र पता लगाने के लिए अनुसंधान को बढ़ावा मिलेगा और बीआरसीए से संबंधित कैंसर के बोझ में कमी आएगी.

एमकेएस/एबीएम