नई दिल्ली, 15 दिसंबर . लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने संसद में शनिवार को अपने बयान में मनुस्मृति, एकलव्य के अंगूठे का उदाहरण दिया, जिस पर भारत के संत समाज ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है. धार्मिक नेता और संत जितेन्द्रानंद सरस्वती ने भी इस बयान को हिन्दू विरोधी बताते हुए माफी की मांग की है.
जितेन्द्रानंद सरस्वती ने से बात करते हुए कहा, “कल राहुल गांधी ने संसद में मनुस्मृति, द्रोणाचार्य ने एकलव्य का अनूठा काटा जैसे शब्दों का जो प्रयोग किया, यह बेहद निंदनीय है. मैं राहुल गांधी से पूछना चाहता हूं कि वह कुरान अथवा बाइबिल के किसी अंश को उद्धृत कर सकते हैं? वह इस्लाम अथवा ईसाई धर्म की निंदा कर सकते हैं? उत्तर होगा नहीं कर सकते.”
उन्होंने कहा, “इसके अलावा उन्होंने दोनों तथ्य जो दिए, वह भी सर्वथा गलत है. जहां तक मनुस्मृति का प्रस्ताव है, सैकड़ों वर्षों से मनुस्मृति से शासन नहीं चल रहा है. देश की आजादी को 75 वर्ष हो गए हैं और यह शासन भारत के संविधान के आधार चल रहा है जो राजेंद्र प्रसाद की अध्यक्षता में और बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर की ड्राफ्टिंग कमेटी ने बनाकर दिया है.”
उन्होंने आगे कहा कि ऐसी परिस्थितियों में बार बार सनातन धर्म को लक्षित करके गालियां देना निश्चित ही हिंदू विरोधी, राष्ट्र विरोधी टूल किट का हिस्सा है. उन्होंने पहले भी भगवा आतंकवाद की असफल परिभाषा गढ़ने की कोशिश की है. मैं राहुल गांधी से यही कहूंगा कि आपके चेहरे पर पड़ा हिंदू विरोध का नकाब उतर चुका है. आप हिंदू विरोधी हैं और इस संदर्भ में एक ही टिप्पणी पर्याप्त है कि एक किन्नर स्वयं को स्त्री दिखाने के चक्कर में जब श्रृंगार करता है तो और विद्रूप लगने लगता है. ज्ञानी बनने के चक्कर में राहुल गांधी ने सारी मर्यादाएं नष्ट कर दी हैं. राहुल गांधी को कल संसद में सनातन धर्म पर दिए गए बयान को लेकर क्षमा मांगनी ही चाहिए.
उल्लेखनीय है कि लोकसभा में नेता विपक्ष राहुल गांधी ने एकलव्य-द्रोणाचार्य की कहानी सुनाते हुए भाजपा सरकार को घेरा था. राहुल गांधी के बयान ‘द्रोणाचार्य ने एकलव्य का अंगूठा काटा’ को लेकर संत समाज बेहद नाराज है. संतों का कहना है कि ये हिंदू विरोधी टिप्पणी है.
अयोध्या धाम मणि रामदास छावनी के उत्तराधिकारी कमल नयनदास ने भी राहुल गांधी को उनके बयान के लिए हिन्दू विरोधी बताया. राम जन्म भूमि अयोध्या धाम के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने भी कहा कि राहुल गांधी हिन्दू विरोधी बात करते हैं. उन्हें पता नहीं है कि क्या बोलना है.
मालूम हो कि राहुल गांधी ने संविधान पर चर्चा के दौरान लोकसभा में शनिवार को कहा था, “जिस तरह से द्रोणाचार्य ने एकलव्य का अंगूठा काटकर उनका हुनर ले लिया था. भाजपा भी अग्निवीर योजना के तहत युवाओं का अंगूठा काट रही है.”
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एएस/