भोपाल 3 जून . लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी ने मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में संगठन सृजन अभियान की शुरुआत करते हुए साफ कर दिया है कि कांग्रेस में बड़ा बदलाव होने वाला है. उन्हें मध्य प्रदेश में 55 नेताओं की जरूरत है.
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने राजधानी में कार्यकर्ताओं से कहा कि अब पहले जैसे जिला अध्यक्ष नहीं चुने जाएंगे, बल्कि दिल्ली से भेजे जाने वाले पर्यवेक्षक के साथ स्थानीय नेताओं और कार्यकर्ताओं से चर्चा के बाद ही चुने जाएंगे. पहले जैसे अध्यक्ष नहीं होंगे, जैसे किसी नेता का सहायक अध्यक्ष बन जाता था.
उन्होंने आगे कहा कि जिलाध्यक्षों की भूमिका विधानसभा के उम्मीदवार से लेकर लोकसभा के उम्मीदवार के चयन में अहम होगी. जिलाध्यक्ष ताकतवर होंगे. पार्टी आने वाले समय में ब्लॉक स्तर पर जाएगी. उन्होंने कहा कि मध्य प्रदेश में पार्टी ताकतवर है और उन्हें 55 नेताओं की जरूरत है. इसके लिए पार्टी बेहतर और ऊर्जावान लोगों की तलाश करेगी. यहां के नेताओं में भाजपा को हराने की क्षमता है, मगर उनके हाथ बंधे हुए हैं. राहुल गांधी ने राज्य में सक्षम कार्यकर्ताओं को जिम्मेदारी सौंपे जाने की बात कही.
उन्होंने कहा कि कांग्रेस में तीन तरह के घोड़े हैं. एक बारात वाले, दूसरे रेस वाले और तीसरे लंगड़े. रेस वाले घोड़े को बारात में भेज दिया जाता है और बारात वाले को रेस में. अब ऐसा नहीं होगा. जो घोड़े लंगड़े हैं और थक चुके हैं, उन्हें अलग करना होगा.
कांग्रेस नेता ने गुजरात में कांग्रेस में किए गए बदलाव का जिक्र किया और कहा कि वहां जिलाध्यक्ष बनाने के लिए कार्यकर्ता, नेता और वरिष्ठ नेता से बात की गई. उसके बाद नियुक्ति हुई. जो सूची राज्य इकाई से भेजी गई थी और पर्यवेक्षकों ने बनाई, उनमें बड़ा अंतर था.
बता दें कि राहुल गांधी के स्वागत के लिए राजधानी में कांग्रेस ने जोरदार तैयारी की थी. जगह-जगह कार्यकर्ताओं का हुजूम लगा रहा. कांग्रेस के झंडे भी हर तरफ नजर आए.
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एसएनपी/डीएससी