सुरक्षित भारत, सुरक्षित महिलाएं: मोदी सरकार के कार्यकाल में अपराधों में आई भारी गिरावट

New Delhi, 3 अक्टूबर . मोदी Government के कार्यकाल में अपराधों में लगातार गिरावट आई. राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़े बताते हैं कि 2004 और 2014 के बीच हत्या, रेप, दहेज हत्या और दंगों में जहां बढ़ोतरी हुई, वहीं 2014 के बाद से इनमें कमी आई है, जिससे आज देश, खासकर महिलाओं के लिए कहीं अधिक सुरक्षित हो गया है.

यूपीए शासन में रेप के मामलों में चिंताजनक वृद्धि हुई, जो 2004 में 18,233 से लगभग दोगुनी होकर 2014 में 36,735 हो गई थी. इस वृद्धि ने महिलाओं के खिलाफ अपराधों को उस दशक के सबसे चिंताजनक पहलुओं में से एक बना दिया. इसके विपरीत, मोदी काल में इसमें कमी देखी गई है. 2023 तक दर्ज रेप के मामले घटकर 29,670 रह गए, जो 2014 के स्तर से 19 प्रतिशत की कमी दर्शाता है. यह गिरावट पहले की तीव्र वृद्धि को देखते हुए विशेष रूप से महत्वपूर्ण है और India को महिलाओं के लिए सुरक्षित बनाने के प्रयासों को दर्शाती है.

यूपीए शासन के दौरान दहेज से संबंधित मौतों में भी वृद्धि हुई. 2004 में 7,026 मामले बढ़कर 2014 में 8,455 हो गए, जो लगभग 20 प्रतिशत की वृद्धि है. हालांकि, 2014 के बाद से दहेज हत्याओं में लगातार गिरावट आई है. 2023 तक, ऐसे मामलों की संख्या 6,156 हो गई, जो 2014 की तुलना में 27 प्रतिशत की कमी है. यह सभी हिंसक अपराधों में सबसे तेज गिरावट में से एक है.

संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) शासन के दौरान दंगों की घटनाओं में वृद्धि हुई, जो 2004 में 59,971 से बढ़कर 2014 में 66,042 हो गई, जो कुल मिलाकर लगभग 10 प्रतिशत की वृद्धि है. 2014 के बाद दंगों के मामलों में भारी कमी आई. 2023 तक ये संख्या घटकर 39,260 रह गई, जो 2014 के स्तर से 40 प्रतिशत कम है. प्रमुख हिंसक अपराधों की चार श्रेणियों में यह सबसे बड़ी गिरावट है. यह मोदी Government की ‘सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास’ नीति का एक और प्रमाण है.

यूपीए के शासनकाल में हत्याओं की संख्या लगातार बढ़ती रही, औसतन प्रति वर्ष लगभग 33,200 मामले दर्ज किए गए. 2004 में यह संख्या 33,608 थी और 2014 में भी 33,981 के समान स्तर पर रही. 2014 के बाद से यह रुझान बदल गया है. 2023 तक, हत्या के मामले घटकर 27,721 रह गए, जो यूपीए काल के औसत से 18 प्रतिशत कम है. यह दशक भर में सबसे लगातार सुधारों में से एक है.

यूपीए Government के तहत इन चार श्रेणियों में हिंसक अपराधों में 22 प्रतिशत की वृद्धि हुई, जो 2014 में 1.45 लाख मामलों तक पहुंच गई. मोदी Government के तहत, 2023 में कुल मामलों की संख्या 29 प्रतिशत घटकर 1.02 लाख रह गई, जो 2004 में दर्ज 1.18 लाख मामलों से भी कम है. यह बदलाव दर्शाता है कि पिछले एक दशक में India कैसे उल्लेखनीय रूप से सुरक्षित हुआ है, विशेष रूप से महिलाओं को हिंसक अपराधों से बचाने में महत्वपूर्ण प्रगति हुई है.

मोदी Government ने Police व्यवस्था के आधुनिकीकरण और आंतरिक सुरक्षा को मजबूत करने के लिए बड़े कदम उठाए हैं. क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क एंड सिस्टम (सीसीटीएनएस), जो यूपीए के शासनकाल में बिना बजट के ठप पड़ा था, मोदी Government के तहत नए सिरे से ध्यान केंद्रित किया गया. सीसीटीएनएस अब 17,712 Police स्टेशनों को जोड़ता है और देश भर में 35.24 करोड़ से अधिक अपराध रिकॉर्ड उपलब्ध कराता है, जिससे बेहतर समन्वय और त्वरित जांच सुनिश्चित होती है.

मोदी Government ने 2021 से 4,846 करोड़ रुपए के आवंटन के साथ, Police आधुनिकीकरण के लिए राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को सहायता (एएसयूएमपी) योजना के माध्यम से राज्य Police बलों को मजबूत किया है. इस योजना के तहत राज्य Police बलों को आधुनिक तकनीक, उन्नत संचार प्रणाली, उन्नत हथियार और गतिशीलता सहायता से लैस किया जा रहा है और प्राथमिकता वाले क्षेत्रों में नए Police स्टेशन और आवास बनाए गए हैं. नए आपराधिक कानूनों में कड़े प्रावधान, मामलों की जांच और सुनवाई के लिए विशिष्ट समय-सीमाएं भी शामिल की गई हैं और महिलाओं और बच्चों के खिलाफ अपराधों से निपटने के लिए एक व्यापक दृष्टिकोण लाया गया है.

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