ब्रुनेई की यात्रा से मजबूत संबंधों के नए युग की शुरुआत : पीएम मोदी

बंदर सेरी बेगवान (ब्रुनेई), 4 सितम्बर . प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को कहा कि ब्रुनेई की उनकी दो दिवसीय यात्रा से द्विपक्षीय संबंधों को बढ़ावा देने की नई दिल्ली की इच्छा झलकती है और इससे ‘एक्ट ईस्ट’ नीति और हिंद-प्रशांत क्षेत्र के लिए इसके दृष्टिकोण को क्रियान्वित करने में मदद मिलेगी.

किसी भारतीय प्रधानमंत्री की दक्षिण-पूर्वी एशियाई देश की यह पहली द्विपक्षीय यात्रा थी.

प्रधानमंत्री मोदी ने क्षेत्र की अपनी यात्रा के दूसरे और अंतिम चरण में सिंगापुर रवाना होने से पहले कहा, “ब्रुनेई दारुस्सलाम की मेरी यात्रा फलदायी रही. इससे भारत-ब्रुनेई संबंधों के एक नए युग की शुरुआत हुई है. हमारी मित्रता एक बेहतर ग्रह के निर्माण में योगदान देगी. मैं ब्रुनेई के लोगों और सरकार के आतिथ्य और स्नेह के लिए उनका आभारी हूं.”

इससे पहले, भारत और ब्रुनेई ने बुधवार को प्रौद्योगिकी, वित्त, विनिर्माण और प्रसंस्करण के क्षेत्रों में अपनी-अपनी शक्तियों का लाभ उठाने का आह्वान किया.

बंदर सेरी बेगवान के इस्ताना नूरुल ईमान में आयोजित व्यापक द्विपक्षीय वार्ता के दौरान प्रधानमंत्री मोदी और ब्रुनेई के सुल्तान हाजी हसनल बोल्किया की उपस्थिति में कई समझौतों पर हस्ताक्षर हुए. इनमें उपग्रह और प्रक्षेपण वाहनों के लिए टेलीमेट्री, ट्रैकिंग और टेलीकमांड स्टेशन के संचालन में सहयोग पर समझौता ज्ञापन भी शामिल था.

ब्रुनेई के सुल्तान द्वारा उनके सम्मान में आयोजित भोज में प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, “हमने अपनी साझेदारी को रणनीतिक दिशा देने के लिए अपने संबंधों के विभिन्न पहलुओं पर व्यापक बातचीत की. हम आर्थिक, वैज्ञानिक और रणनीतिक क्षेत्रों में अपने सहयोग को मजबूत करने के लिए प्रतिबद्ध हैं. हमने कृषि उद्योग, दवा और स्वास्थ्य क्षेत्रों के साथ-साथ फिनटेक और साइबर सुरक्षा में अपने सहयोग को मजबूत करने का निर्णय लिया है.”

उन्होंने कहा, “ऊर्जा क्षेत्र के अंतर्गत, हमने एलएनजी में दीर्घकालिक सहयोग की संभावनाओं पर चर्चा की. अपनी रक्षा सहयोग को मजबूत करने के लिए, हमने रक्षा उद्योग, प्रशिक्षण और क्षमता निर्माण में सहयोग की संभावनाओं पर रचनात्मक बातचीत की. अंतरिक्ष क्षेत्र में अपने सहयोग को मजबूत करने के लिए, हमने उपग्रह विकास, रिमोट सेंसिंग और प्रशिक्षण में सहयोग पर सहमति व्यक्त की है. दोनों देशों के बीच संपर्क बढ़ाने के लिए, जल्द ही सीधी उड़ानें शुरू की जाएंगी.”

द्विपक्षीय वार्ता के बाद जारी संयुक्त वक्तव्य में प्रधानमंत्री मोदी ने भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के टेलीमेट्री ट्रैकिंग और टेलीकमांड (टीटीसी) स्टेशन की मेजबानी जारी रखने के लिए ब्रुनेई की “सराहना” की.

आरके/