नई दिल्ली, 29 मई . राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में पानी संकट पर जहां आरोप-प्रत्यारोप जारी है, वहीं दिल्ली की जनता ने इसको लेकर मीडिया के सामने आकर अपना आक्रोश व्यक्त किया.
पानी संकट से जूझ रही दिल्ली के कृष्णा पार्क की रहने वाली महिला राजबाला ने से बातचीत के दौरान अपनी व्यथा प्रकट की. उन्होंने बताया, “इतने साल हो गए, लेकिन अभी तक पानी का स्थायी समाधान नहीं हो पाया है. कई दफा इस बारे में अधिकारियों को शिकायत की जा चुकी है, लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की गई. हम सब अब इस स्थिति से बहुत तंग आ चुके हैं. खासकर गर्मी का मौसम आते ही हमें बहुत परेशानी होती है. सरकार को चाहिए पानी संकट को दूर करने के लिए कोई स्थायी कदम उठाए. स्थिति ऐसी बन चुकी है कि हमारे बच्चे अब एक-एक बूंद पानी के लिए तरस रहे हैं, मगर सरकार हाथ पर हाथ धरे बैठी है. कभी हम उस गली से पानी लाते हैं, तो कभी उस गली से.”
उन्होंने आगे कहा, “हमारी जिंदगी खराब हो चुकी है. कई लोग तो अपना मकान बेचकर भी यहां से जा चुके हैं. हमने अपने बच्चों को रिश्तेदारों के यहां भेज दिया है. अब हमारे पास आत्महत्या के अलावा और कोई विकल्प नहीं बचा है. केजरीवाल जी कहते थे कि हमें वोट दो, हम हजार लीटर पानी फ्री देंगे, लेकिन हमें दो लीटर पानी भी नहीं मिल पा रहा है. हमने इन्हें वोट दिया. इन्हें जिताया, लेकिन अफसोस हमें पानी नहीं मिला. अब हमारे पास कोई विकल्प नहीं बचा है. अब हम या तो आत्महत्या करेंगे या कहीं और चले जाएंगे. अब इसके अलावा हमारे पास कोई विकल्प नहीं बचा है. केजरीवाल ने हमें 200 यूनिट तक बिजली दी, लेकिन अब हमें पानी चाहिए. बिजली नहीं रहेगी, तो हम कम से कम पंखा हिलाकर रह लेंगे, लेकिन अगर पानी नहीं रहेगा, तो हम कैसे रहेंगे?“
दिल्ली में पानी की किल्लत से जूझ रही रानी नाम की एक महिला ने कहा, “दिल्ली में जब चुनाव होते हैं, तो वोट देने से पहले पूछती हूं कि क्या तुम पानी का स्थायी समाधान हमारे यहां करोगे, तो नेता कहते हैं कि हम करेंगे, लेकिन अभी हमारे लिए कोई कुछ भी करता नजर नहीं आ रहा है. पहले तो थोड़ा बहुत पानी भेजा भी जाता था, लेकिन अब पानी आ ही नहीं रहा है. अब हम क्या करें. हम कई बार अधिकारियों के पास इस संबंध में शिकायत करने पहुंचे तो उन्होंने कहा कि हम इसका समाधान करेंगे, लेकिन कोई कुछ करता ही नहीं है.“
बता दें कि दिल्ली में जारी पानी संकट को लेकर सियासत जोरों पर है. दिल्ली बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष वीरेंद्र सचदेवा ने इस मामले में सीएम केजरीवाल पर निशाना साधा. उन्होंने बयान जारी कर केजरीवाल से सवाल किया कि हर बार ‘समर एक्शन प्लान’ तैयार किया जाता था, लेकिन इस बार ऐसा कोई प्लान तैयार नहीं किया गया और ना ही इस संबंध में कोई बैठक बुलाई गई. दिल्ली सरकार को पानी संकट दूर करने के लिए कोई उचित कदम उठाना चाहिए था, लेकिन इन लोगों ने ऐसा कुछ भी करने के बजाए राजनीति करना ज्यादा जरूरी समझा.
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