एम्स देकर राजकोट की जनता का 22 साल पुराना कर्ज उतार रहा हूं : नरेंद्र मोदी

नई दिल्ली, 25 फरवरी . प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुजरात दौरे पर हैं, यहां से उन्होंने राष्ट्र को सबसे लंबा पुल ‘सुदर्शन सेतु’ सौंपा. प्रधानमंत्री मोदी के लिए 25 फरवरी का दिन यादगार और ऐतिहासिक रहा है. इसी तारीख को आज से ठीक 22 साल प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पहली बार चुनावी राजनीति में कदम रखा था. 25 फरवरी 2002 को उन्होंने पहली बार विधायक के तौर पर विधानसभा में शपथ ली थी.

ऐसे में गुजरात में अपने संबोधन में पीएम मोदी ने इस बात का जिक्र भी कर दिया कि उन्होंने 22 साल पहले 24 फरवरी ही के दिन चुनावी यात्रा की शुरुआत की थी. पीएम मोदी ने राजकोट में लोगों को संबोधित करते हुए कहा, “मेरे जीवन का कल(24 फरवरी) एक विशेष दिन था. मेरी चुनावी यात्रा की शुरुआत में राजकोट की बड़ी भूमिका है. 22 साल पहले 24 फरवरी को ही राजकोट ने पहली बार मुझे आशीर्वाद दिया था, अपना एमएलए चुना था और आज 25 फरवरी के दिन पहली बार राजकोट के विधायक के तौर पर गांधीनगर विधानसभा में शपथ ली थी.”

इससे पहले पीएम मोदी की एक फोटो सोशल मीडिया एक्स के मोदी आर्काइव हैंडल से शेयर की गई थी. फोटो में नरेंद्र मोदी के साथ भाजपा के दिग्गज नेता और गुजरात के पूर्व सीएम केशुभाई पटेल भी नजर आ रहे थे.

नरेंद्र मोदी ने 2002 में पहली बार चुनाव लड़ा था. उन्होंने राजकोट उपचुनाव में 14 हजार से अधिक वोटों से जीत हासिल की थी. हालांकि, चुनाव में उतरने से पहले नरेंद्र मोदी गुजरात के मुख्यमंत्री पद का जिम्मा संभाल चुके थे. पीएम मोदी के लिए आज भी राजकोट की ये पुरानी फोटो हमेशा दिल में एक अलग छाप रखती है. साल 2001 में नरेंद्र मोदी ने पहली बार गुजरात के सीएम के तौर पर शपथ ली थी. उन्हें सीएम पद पर बने रहने के लिए विधानसभा का सदस्य होना जरूरी था. इसके बाद फरवरी 2002 में वह राजकोट विधानसभा सीट से चुनावी मैदान में उतरे थे और इसमें उन्होंने 14 हजार से अधिक वोटों से जीत हासिल की थी.

बता दें कि नरेंद्र मोदी लगातार चार बार गुजरात के मुख्यमंत्री पद पर रहे. साल 2001 से 2014 तक उन्होंने सीएम की कुर्सी संभाली. इससे पहले मोदी आकाईव हैंडल से पीएम मोदी का पुराना वीडियो वायरल हुआ था. इसमें वह पहली बार विधायक का चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे थे. नरेंद्र मोदी को चुनाव में जीत के बाद एक शोभायात्रा भी निकाली गई थी. इस रैली में “देखो-देखो कौन आया-गुजरात का शेर आया” के नारे भी लगाए गए थे.

जीकेटी/एसजीके