रांची के बार में डीजे की हत्या से लॉ-ऑर्डर पर उठे सवाल, भाजपा ने सीएम से मांगा इस्तीफा

रांची, 27 मई . रांची के मेन रोड इलाके में स्थित बार में डीजे की गोली मारकर हत्या की वारदात ने लॉ एंड ऑर्डर पर सवाल खड़े कर दिए हैं. इस वारदात का सीसीटीवी वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल है, जिसमें आरोपी एक निकर पहने आधुनिक ऑटोमेटिक राइफल लेकर बार के अंदर घुसता है और डीजे को गोली मार देता है.

इसके बाद वह बार के बाहर आकर बेखौफ अंदाज में सड़क पर करीब पंद्रह मिनट तक फायरिंग करता है, फिर आराम से अपनी कार में बैठकर निकल जाता है. वारदात रविवार रात करीब एक बजे की है. यह बार रांची में सबसे बड़े फोर स्टार होटल “रेडिशन ब्लू” के पास स्थित है.

लोग सोशल मीडिया पर वीडियो शेयर करते हुए सवाल उठा रहे हैं कि शख्स जब पंद्रह मिनट तक फायरिंग कर रहा था तो पुलिस और पीसीआर कहां थी? वह कार में ऑटोमेटिक राइफल लेकर घूमता रहा और उसे कहीं भी रोका नहीं गया तो पेट्रोलिंग ड्यूटी में लगाए गए पुलिसकर्मी कहां थे?

सवाल यह भी उठ रहा है कि जब लोकसभा चुनाव के दौरान तमाम लाइसेंसी हथियार जमा कराए गए थे, तो यह व्यक्ति ऑटोमेटिक राइफल लेकर कैसे घूम रहा था? आरोपी शख्स का नाम अभिषेक सिंह बताया जा रहा है. पुलिस ने सोमवार को उसे गिरफ्तार कर लिया. ऑटोमेटिक राइफल भी जब्त कर ली गई है.

झारखंड प्रदेश भाजपा के अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने भी इस वारदात का सीसीटीवी वीडियो सोशल मीडिया पर पोस्ट करते हुए लिखा है, “झारखंड में व्यवसाय करना कितना असुरक्षित हो गया है, इसका खौफनाक उदाहरण कल फिर देखने को मिला. राजधानी रांची में एक बार के अंदर डीजे की गोली मारकर हत्या कर दी गई. इस घटना ने जेसिका लाल मर्डर केस की यादें ताजा कर दी. मामूली विवाद में डीजे की हत्या करने वाले अपराधियों का दुस्साहस दिखाता है कि राज्य में कानून व्यवस्था की स्थिति बिल्कुल मरणासन्न हो चुकी है. झामुमो-कांग्रेस की सरकार तो पिछले साढ़े 4 सालों से अपराधियों के गोदी में बैठकर खेल रही है, उनसे कार्रवाई की उम्मीद भी नहीं की जा सकती.”

मरांडी ने राज्य के सीएम चंपई सोरेन को लेकर लिखा कि अनुकंपा पर रिमोट कंट्रोल वाला सीएम बनके जनता की जान के साथ सौदा करने से बेहतर है आप इस्तीफा दे दीजिए. अब ऐसा लगता है राज्य के पुलिस महानिदेशक भी सिर्फ शोभा बढ़ाने के लिए पद पर बैठे हुए हैं. उन्होंने डीजीपी से जानना चाहा है कि जनता की सुरक्षा के लिए एहतियातन क्या कदम उठाए जा रहे हैं? क्या पुलिस सिर्फ बाइक और ट्रैक्टर चालकों से अवैध वसूली ही करते रहेगी या अपराधियों पर नकेल भी कसेगी? रांची में जहां पुलिस विभाग के तमाम वरीय अधिकारी रहते हों, सारे संसाधन उपलब्ध हों, आम चुनाव प्रक्रियाधीन हो, पुलिस अलर्ट मोड पर हो, वहां इस प्रकार की घटना होना खेदजनक है.

रांची के भाजपा विधायक और पूर्व मंत्री सीपी सिंह ने कहा है कि रांची में आम चुनाव हुए दो दिन भी नहीं बीते हैं, पुलिस अलर्ट मोड में है, गाड़ी चेकिंग से लेकर हर तरह की चाक-चौबंद सुरक्षा व्यवस्था का दावा किया जा रहा है, ऐसे में राजधानी रांची में अपराधियों द्वारा एक बार के अंदर कर्मचारी की मशीन गन से गोली मारकर हत्या कर देना पुलिस प्रशासन की चौपट सुरक्षा व्यवस्था की पोल खोलती है.

उन्होंने कहा कि रांची में जनता की सुरक्षा व्यवस्था भगवान भरोसे है, अपराध की पराकाष्ठा पार हो चुकी है, पुलिस नाम का अब कोई डर भय अपराधियों में नहीं है, लेकिन झारखंड सरकार इस ओर कोई ठोस कदम नहीं उठा रही है. हेमंत सरकार तो अपराधियों को रोकने में पूरी तरह नाकाम रही, अब हेमंत पार्ट टू का भी वही हाल है.

एसएनसी/एकेएस/