New Delhi, 22 अगस्त . ऑटोमोटिव रिटेलिंग सॉल्यूशन प्रोवाइडर इजमो के स्पेशल डिविजन, इजमोमाइक्रो ने हाई-डेंसिटी वाले सिलिकॉन फोटोनिक्स पैकेजिंग प्लेटफॉर्म डेवलप किया, जिसके बाद Friday को कंपनी के शेयरों में 20 प्रतिशत का अपर सर्किट लगा.
कंपनी की इस उपलब्धि के साथ देश की एंट्री नेक्सट-जनरेशन सेमीकंडक्टर टेक्नोलॉजीज में हो गई है. इसी के साथ कंपनी के शेयर इंट्रा-डे ट्रेड के दौरान 97.90 रुपए बढ़कर 587.55 रुपए के नए सर्वकालिक उच्च स्तर पर पहुंच गए.
बेंगलुरु स्थित कंपनी ने घोषणा की कि यह इनोवेशन एआई, क्लाउड कंप्यूटिंग और फ्यूचर टेलीकॉम नेटवर्क को आगे बढ़ाने के लिए महत्वपूर्ण होगा. यह प्रगति हाइपरस्केल डेटा सेंटर, एआई क्लस्टर और नेक्सट जनरेशन 5जी और 6G नेटवर्क के लिए मापनीयता और दक्षता का समर्थन करती है.
कंपनी ने एक हाई-डेंसिटी वाला सिलिकॉन फोटोनिक्स पैकेजिंग प्लेटफॉर्म विकसित किया है, जो 32-चैनल फाइबर इनपुट और आउटपुट को सपोर्ट करता है, जिससे उद्योग में अग्रणी 2 डीबी से कम का इंसर्शन लॉस प्राप्त होता है.
कंपनी ने नैनोमीटर-स्तरीय ऑप्टिकल अलाइनमेंट तक पहुंचने, उन्नत असेंबली प्रक्रियाओं का उपयोग करने और इलेक्ट्रॉनिक्स को निर्बाध रूप से इंटीग्रेट करने की एक महत्वपूर्ण चुनौती को पार कर यह घनत्व हासिल किया है.
कंपनी ने अपनी नियामक फाइलिंग में कहा कि यह मॉड्यूल 32 डीसी इनपुट/आउटपुट, 4 आरएफ इनपुट/आउटपुट को इंटीग्रेट करता है और 70 गीगाहर्ट्ज तक उच्च-गति आरएफ प्रदर्शन प्रदान करता है.
इजमोमाइक्रो के कार्यकारी निदेशक दीनानाथ सोनी ने कहा, “दुनिया भर में केवल कुछ ही कंपनियों ने इस क्षमता का प्रदर्शन किया है और हमें भारत में ऐसा करने वाली पहली कंपनी होने पर गर्व है. यह सफलता हमें ग्लोबल सिलिकॉन फोटोनिक्स उद्योग के लिए एक महत्वपूर्ण भागीदार के रूप में स्थापित करती है.”
सिलिकॉन फोटोनिक्स हाई-स्पीड डेटा ट्रांसमिशन के लिए कॉपर इंटरकनेक्ट्स की जगह ले रहा है और मल्टी-टेराबिट ऑप्टिकल संचार के लिए प्रमुख तकनीक बन रहा है.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लाल किले से अपने 79वें स्वतंत्रता दिवस के संबोधन में घोषणा की कि 2025 के अंत तक बाजार में भारत निर्मित सेमीकंडक्टर चिप्स उपलब्ध हो जाएंगे.
केंद्रीय मंत्रिमंडल ने इस सप्ताह 4,600 करोड़ रुपए की चार सेमीकंडक्टर परियोजनाओं को मंजूरी दी. ओडिशा को दो और आंध्र प्रदेश और पंजाब को एक-एक नई परियोजनाएं मिलेंगी. नई स्वीकृतियों के बाद, छह राज्यों में भारत सेमीकंडक्टर मिशन (आईएसएम) द्वारा स्वीकृत दस परियोजनाएं हो गई हैं.
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