लखनऊ, 2 अक्टूबर . उत्तर प्रदेश की संगम नगरी प्रयागराज में जनवरी से शुरू होने वाले महाकुंभ-2025 को भव्य और दिव्य तरीके से संपन्न कराने के लिए सरकार प्रयत्नशील है. पर्यटन विभाग ‘डिजिटल कुंभ म्यूजियम’ बनाने की तैयारी में है. यहां श्रद्धालु डिजिटल माध्यमों से समुद्र मंथन देख सकेंगे. इसके अलावा, कुंभ, महाकुंभ सहित अन्य धार्मिक-आध्यात्मिक स्थलों के बारे में भी जानकारी दी जाएगी.
पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने कहा कि पर्यटन के क्षेत्र में तेजी से विकास करने वाले उत्तर प्रदेश के लिए महाकुंभ-2025 अवसर और चुनौती दोनों है. पर्यटन विभाग श्रद्धालुओं को विशिष्ट अनुभव देने के लिए निरंतर प्रयास कर रहा है. इसी क्रम में प्रयागराज में शिवालय पार्क के पास, अरैल रोड नैनी में डिजिटल कुंभ म्यूजियम बनेगा. इसके लिए 21.38 करोड़ रुपए स्वीकृत हुए हैं, जिसमें 6 करोड़ रुपए जारी किए जा चुके हैं.
उन्होंने बताया कि संग्रहालय का आकार 10,000 वर्ग मीटर होगा, जिसमें एक साथ 2,000 से 2,500 लोग भ्रमण कर सकेंगे. डिजिटल म्यूजियम में समुद्र मंथन की 14 रत्नों वाली गैलरी बनाई जाएगी. डिजिटल माध्यम से समुद्र मंथन के बारे में विस्तार से जानकारी दी जाएगी. डिजिटल स्क्रीन सहित अन्य माध्यमों से प्रयागराज महाकुंभ-कुंभ, हरिद्वार, नासिक, उज्जैन कुंभ आदि के बारे में विस्तार से बताया जाएगा. इसके अलावा, लैंडस्केपिंग विकसित की जाएगी. टिकट काउंटर भी बनाया जाएगा.
पर्यटन एवं संस्कृति मंत्री जयवीर सिंह ने कहा कि हमारा प्रयास है कि महाकुंभ में आने वाले श्रद्धालु विशेष अनुभव लेकर लौटें. इसके लिए सरकार निरंतर प्रयास कर रही है. स्नान, ध्यान, भ्रमण, पूजन आदि के साथ ठहरने के लिए अच्छी व्यवस्था की जा रही है. महाकुंभ के साथ-साथ प्रयागराज के अन्य धार्मिक-आध्यात्मिक स्थलों का भी विकास किया जा रहा है.
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विकेटी/एबीएम