रामकृष्ण परमहंस की पुण्यतिथि पर नेताओं ने अर्पित की श्रद्धांजलि

New Delhi, 16 अगस्त . India की आध्यात्मिक चेतना के प्रकाश पुंज स्वामी रामकृष्ण परमहंस की पुण्यतिथि पर देशभर में उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की गई. केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह और उत्तर प्रदेश के Chief Minister योगी आदित्यनाथ ने स्वामी जी को याद करते हुए उनके योगदान को सराहा.

केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने social media प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर पोस्ट करते हुए समाज के प्रति समर्पण के लिए उन्हें याद किया. उन्होंने लिखा, “स्वामी रामकृष्ण परमहंस ने साधना, सत्य और सेवा को अपने जीवन का ध्येय बनाया. उन्होंने शास्त्रों के गूढ़ रहस्यों को सहज भाषा में जन-जन तक पहुंचाया. उनकी तपस्या और विचार आज भी युवाओं को राष्ट्र और समाज के प्रति समर्पण के लिए प्रेरित करते हैं.” उन्होंने स्वामी जी को उनकी पुण्यतिथि पर वंदन किया.

Union Minister नितिन गडकरी ने एक्स पर लिखा, “अपनी शिक्षा एवं विचारों से संपूर्ण जगत को धर्म और अध्यात्म का मार्ग दिखाने वाले रामकृष्ण परमहंस जी ने देश को एकता के सूत्र में बांधने का कार्य किया. आज उनकी पुण्यतिथि पर उन्हें विनम्र अभिवादन. उनके विचार सदैव मार्गदर्शन करते रहेंगे.”

Union Minister धर्मेंद्र प्रधान ने एक्स पर पोस्ट किया, “भारतीय आध्यात्मिकता के अद्वितीय प्रतीक, महान संत व विचारक रामकृष्ण परमहंस जी की पुण्यतिथि पर उन्हें शत्-शत् नमन. मां काली के परम भक्त रामकृष्ण परमहंस जी एक अद्वितीय संत थे, जिन्होंने जीवन की सादगी और अनन्य भक्ति के द्वारा हमें ईश्वर के प्रति अपने दृष्टिकोण को बदलने की प्रेरणा दी. उनका जीवन एक सामान्य व्यक्ति से लेकर उच्चतम दिव्य अनुभव तक पहुंचने की साधना का अद्भुत उदाहरण है. वे विश्व बंधुत्व की भावना के प्रतीक थे. उनके अनुभव और शिक्षाएं आज भी हमारे जीवन को दिशा देने का काम कर रही हैं.”

Madhya Pradesh के Chief Minister मोहन यादव ने लिखा, “मां महाकाली के अनन्य भक्त, आध्यात्मिक गुरु, श्रद्धेय स्वामी रामकृष्ण परमहंस जी की पुण्यतिथि पर सादर श्रद्धांजलि अर्पित करता हूं. उन्होंने श्रद्धा-भक्ति के साथ मानव कल्याण को प्रभु प्राप्ति का माध्यम बताकर मोक्ष का मार्ग प्रशस्त किया. तप, योग और ध्यान की त्रिवेणी उनकी आध्यात्मिक यात्रा प्रेरणा देती रहेगी.”

उत्तर प्रदेश के Chief Minister योगी आदित्यनाथ ने भी स्वामी जी को विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित की. उन्होंने ‘एक्स’ पर पोस्ट करते हुए लिखा, “स्वामी रामकृष्ण परमहंस की शिक्षाएं आत्मज्ञान, भक्ति और अध्यात्म के पथ को आलोकित करती हैं और युगों-युगों तक मानव समाज का मार्गदर्शन करती रहेंगी.”

India के महान संत और विचारक रामकृष्ण परमहंस के जीवन और शिक्षाओं ने न केवल भारत, बल्कि विश्व भर में आध्यात्मिक चेतना को जागृत किया. स्वामी विवेकानंद के गुरु रामकृष्ण परमहंस का जीवन सादगी, भक्ति और मानवता का प्रतीक रहा. परमहंस ने अपने आध्यात्मिक और सामाजिक योगदान से भारतीय संस्कृति को समृद्ध किया. उनकी शिक्षाएं आज भी समाज में एकता, भक्ति और सेवा की भावना को प्रेरित करती हैं. देशभर में उनके अनुयायियों ने विभिन्न आयोजनों के माध्यम से उनकी पुण्यतिथि मनाई और उनके आदर्शों को अपनाने का संकल्प लिया.

8 फरवरी, 1836 को पश्चिम बंगाल के हुगली जिले में जन्मे रामकृष्ण का जीवन केवल भक्ति तक सीमित नहीं था, वे एक कुशल शिक्षक भी थे. उनकी सरल भाषा में दी गई शिक्षाएं गहन दार्शनिक सत्य को प्रकट करती थीं. 16 अगस्त, 1886 में, गले के कैंसर की वजह से रामकृष्ण ने कोलकाता के काशीपुर में अंतिम सांस ली.

एससीएच/एएस