यूपी के बाढ़ प्रभावित जिलों में 24 घंटे सक्रिय रखें नियंत्रण कक्ष, राहत कार्यों में न हो लापरवाही : मुख्य सचिव

Lucknow, 2 अगस्त . उत्तर प्रदेश में संभावित बाढ़ की स्थिति को लेकर Government पूरी तरह सतर्क है. इसी क्रम में मुख्य सचिव एस.पी. गोयल ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी जिलाधिकारियों के साथ राहत एवं बचाव कार्यों की समीक्षा की और जन-धन की सुरक्षा को सर्वोपरि रखते हुए कारगर व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए.

मुख्य सचिव ने कहा कि अतिसंवेदनशील क्षेत्रों में पर्याप्त राहत सामग्री की व्यवस्था रहे. बाढ़ राहत शिविरों में लंच पैकेट, शुद्ध पेयजल, दवाइयां, नाश्ता, प्रकाश, और जरूरी उपकरण अनिवार्य रूप से उपलब्ध हों. साथ ही, गोआश्रय स्थलों पर पशुओं के चारे की समुचित व्यवस्था की जाए. उन्होंने यह भी कहा कि एनडीआरएफ, एसडीआरएफ/पीएसी फ्लड यूनिट और आपदा प्रबंधन टीमें 24×7 एक्टिव मोड में रहें और किसी भी स्थिति से निपटने के लिए पूरी तत्परता बनाए रखें.

राज्य और जिला स्तर पर कंट्रोल रूम निरंतर सक्रिय रहें. राहत आयुक्त भानु चंद्र गोस्वामी ने बताया कि प्रदेश के 24 जिले अतिसंवेदनशील घोषित किए गए हैं, जिनमें महाराजगंज, कुशीनगर, लखीमपुर खीरी, गोरखपुर, बहराइच, गाजीपुर, बलिया, सिद्धार्थनगर सहित अन्य जिले शामिल हैं. इसके अतिरिक्त 16 जिले संवेदनशील की श्रेणी में हैं.

मुख्य सचिव ने सभी जिलाधिकारियों को निर्देशित किया कि वे स्थानीय स्थलों का निरंतर स्थलीय निरीक्षण करें और राहत कार्यों में कोई ढिलाई न बरती जाए. साथ ही, स्वास्थ्य विभाग की टीम सक्रिय रहे और अस्पतालों में क्लोरीन टैबलेट, ओआरएस, और आवश्यक दवाओं की उपलब्धता सुनिश्चित की जाए.

विकेटी/एएस