कंगना के वक्तव्य ने सिद्ध कर दिया कि उनके अंदर गंभीरता नहीं है : टीएस सिंह देव (आईएएनएस साक्षात्कार)

रायपुर, 25 सितंबर . दिग्गज कांग्रेस नेता एवं छत्तीसगढ़ के पूर्व उपमुख्यमंत्री टीएस सिंह देव ने बुधवार को से खास बातचीत की. इस दौरान उन्होंने भाजपा सांसद कंगना रनौत के किसान कानून पर दिए गए बयान पर अपनी प्रतिक्रिया दी.

हिमाचल की मंडी लोकसभा सीट से सांसद कंगना रनौत ने कुछ दिनों पहले किसान कानूनों को लेकर बयान दिया था, लेकिन अब उन्होंने अपने बयान पर खेद प्रकट की है. इस पर टीएस सिंह देव ने कहा कि कंगना रनौत ने अपनी स्थिति ऐसी बना दी है कि उनकी बात का अब कोई वजन नहीं रह गया है. लोग कहते हैं कि वो एक अच्छी अभिनेत्री है, उस आधार पर उन्हें आगे बढ़ने का एक प्लेटफार्म मिला. लेकिन, उनके वक्तव्य ने सिद्ध कर दिया कि उनमें गंभीरता और गहराई नहीं है. एक अच्छे जनप्रतिनिधि के रूप में काम करने के लिए अभी उनका व्यक्तित्व निखरा नहीं है.

आंध्र प्रदेश के तिरुपति मंदिर के प्रसाद में जानवर की चर्बी मिलावट के प्रकरण को लेकर कांग्रेस नेता ने कहा कि “जहां तक मुझे जानकारी है कि जो घी खरीदा जाता था, उसका टेंडर हर 6 महीने में होता था. घी का जो भी टैंकर आता था, पहले उसके नमूने को टेस्टिंग के लिए भेजा जाता था और शुद्ध पाए जाने के बाद ही उसका उपयोग होता था.”

उन्होंने कहा कि प्रश्न यह है कि लड्डू के सैंपल जांच के दौरान जो मिलावट पाई गई, वो उस दूषित घी से बना क्या? वहां से 10 लाख लड्डू अयोध्या भी गए थे.

तथाकथित जमीन घोटाले में फंसे कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया को लेकर पीएम मोदी की टिप्पणी के सवाल पर टीएस सिंह देव ने कहा कि जांच होने से कोई दिक्कत नहीं है. ये तो अभी आरोप है.

भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा छत्तीसगढ़ दौरे पर आ रहे हैं. भाजपा एक दिन में 10 लाख सदस्य बनाने का दावा भी कर रही‌ है. ऐसे में क्या बीजेपी का सदस्यता अभियान आने वाले उपचुनाव और नगरी निकाय चुनाव में कांग्रेस को नुकसान पहुंचा सकता है? इसको लेकर कांग्रेस नेता ने कहा कि मुझे नहीं लगता कि इससे कांग्रेस को कोई नुकसान पहुंचेगा. क्योंकि महतारी बंधन का पैसा मिला है, वे महिलाओं को सदस्‍य बना रहे हैं. कांग्रेस पार्षद भी सदस्यता के लिए घर-घर जाते हैं, कांग्रेस के लोग भी महिलाओं के पास जाएंगे.

छत्तीसगढ़ में कानून व्यवस्था को लेकर कांग्रेस की आक्रामकता पर टीएस सिंह देव ने कहा कि प्रशासन को और अध‍िक सक्रियता व जागरूकता से काम करने की जरूरत है.

एससीएच/