संयुक्त राष्ट्र, 25 सितंबर . संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने बुधवार को लेबनान पर एक आपातकालीन बैठक बुलाई. फ्रांस के अनुरोध पर बुलाई गई यह मीटिंग एक सप्ताह से भी कम समय में देश की बिगड़ती स्थिति पर दूसरी बैठक थी. इस दौरान संयुक्त राष्ट्र महासचिव एंटोनियो गुटेरेस ने कहा कि लेबनान ‘नारकीय हालात’ से जूझ रहा है.
संबोधन में गुटेरेस ने सुरक्षा परिषद से आग्रह किया कि वे दक्षिणी लेबनान के बफर जोन ब्लू लाइन के पार इजरायली सेना और हिजबुल्लाह आतंकवादियों के बीच बढ़ती हिंसा को समाप्त करने के लिए ‘एक साथ मिलकर काम करें.’
यूएन प्रमुख ने कहा कि दक्षिणी और पूर्वी लेबनान से लोग अब बड़े पैमाने पर लेबनान की राजधानी बेरूत की ओर पलायन कर रहे हैं. वहीं इजरायलियों को हिजबुल्लाह की तरफ से लगातार रॉकेट, ड्रोन और मिसाइल हमलों का सामना करना पड़ रहा है.
गुटेरेस ने दोनों पक्षों से लेबनान की संप्रभुता का सम्मान करने की अपील की. उन्होंने कहा कि लेबनान को पूरे देश में अपने हथियारों पर पूरा नियंत्रण रखना चाहिए.
यूएन प्रमुख ने कहा, “हम लेबनानी सशस्त्र बलों को मजबूत करने के सभी प्रयासों का समर्थन करते हैं.”
लेबनानी प्रधानमंत्री नजीब मिकाती ने कहा, “वे लेबनानी नागरिकों में आतंक और भय फैला रहे हैं. हम युद्ध के कारण एक और पीढ़ी को खोना सहन नहीं कर सकते.”
इजरायल ने बुधवार को कहा कि वह लेबनान में संभावित जमीनी ऑपरेशन के लिए सैनिकों को तैयार कर रहा है. सैनिकों को ‘दुश्मन के इलाके में प्रवेश करने’ के लिए तैयार रहने को कहा गया है.
इजरायल लड़ाकू विमानों ने बुधवार शाम को पूर्वी और दक्षिणी लेबनान पर बड़े पैमाने पर फिर से हमले शुरू किए. पूर्वी लेबनान में बालबेक, हर्मेल और पश्चिमी बेका के क्षेत्रों पर लगभग 70 हमले किए.
इससे पहले सोमवार और मंगलवार को, इजरायल ने 2006 के बाद से लेबनान पर अपने सबसे व्यापक हमले किए, जिसमें सैंकड़ों लोगों की मौत हो गई जबकि लाखों लोगों को विस्थापित होना पड़ा.
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