यरूशलम, 2 फरवरी . इजराइल की वायुसेना ने रविवार को गाजा के मध्य क्षेत्र में विस्थापित फिलिस्तीनियों के काफिले में एक कार पर हमला किया. इसमें कम से कम चार लोग घायल हो गए. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, घायलों में एक बच्चा भी शामिल है, जिसकी हालत गंभीर बताई जा रही है.
बच्चे को इलाज के लिए अल-अवदा अस्पताल ले जाया गया है. इजराइली सैन्य प्रवक्ता ने इस हमले की पुष्टि करते हुए बताया कि यह हमला नुसेरात शरणार्थी शिविर के उत्तर-पश्चिम में अल-रशीद स्ट्रीट पर किया गया.
प्रवक्ता के अनुसार, इस वाहन को इसलिए निशाना बनाया गया, क्योंकि यह बिना किसी निरीक्षण के उत्तरी गाजा में प्रवेश करने की कोशिश कर रहा था. इजराइली सेना का कहना है कि वह किसी भी तरह के संभावित खतरे से निपटने के लिए पूरी तरह तैयार है और अपने सैनिकों की सुरक्षा के लिए सभी आवश्यक कदम उठाएगी. यह हमला उस समय हुआ जब इजराइल और हमास के बीच 19 जनवरी को संघर्ष विराम लागू किया गया था. यह संघर्ष 15 महीनों से अधिक समय तक चला, जिसमें हजारों लोग मारे गए और लाखों लोग विस्थापित हुए. युद्धविराम लागू होने के बावजूद दोनों पक्षों के बीच तनाव बना हुआ है और हिंसा की घटनाएं जारी हैं.
इस बीच, इजराइली सेना ने रविवार को कहा कि उसने वेस्ट बैंक में अपने सैन्य अभियान का विस्तार किया है. सैन्य प्रवक्ता ने बताया कि इजराइली सैनिकों ने शनिवार रात नब्लस के उत्तर में स्थित तमुन शहर पर छापा मारा, जहां पिछले सप्ताह इजराइली हवाई हमले में 10 फिलिस्तीनी मारे गए थे. इस अभियान के दौरान सैनिकों को एक एम-16 राइफल और अन्य हथियार मिले. इसके अलावा, इजराइली सेना वेस्ट बैंक के चार अन्य शहरों और गांवों पर भी छापा मारने की योजना बना रही थी.
फिलिस्तीनी समाचार एजेंसी डब्ल्यूएएफए के अनुसार, इजराइली सैनिकों और बुलडोज़रों ने कई इलाकों में छापेमारी की, जिससे कई परिवारों को अपने घर छोड़ने पर मजबूर होना पड़ा. सैनिकों ने मिट्टी के टीले बनाकर मुख्य सड़कों को अवरुद्ध कर दिया, जिससे लोगों की आवाजाही मुश्किल हो गई. रविवार को जेनिन शरणार्थी शिविर में इजराइली सैनिकों ने 73 वर्षीय एक फिलिस्तीनी व्यक्ति को गोली मार दी, जिससे उसकी मौके पर ही मौत हो गई.
इजराइल ने 21 जनवरी को जेनिन में एक बड़ा सैन्य अभियान शुरू किया था, जिसे उसने “आतंकवाद विरोधी अभियान” करार दिया. फिलिस्तीनी आंकड़ों के अनुसार, इस हमले के बाद से अब तक इजराइली सेना द्वारा कम से कम 25 लोग मारे जा चुके हैं. इजराइली सैन्य वाहनों और बुलडोजरों ने टुबास शहर के दक्षिण-पूर्व में स्थित तमुन और अल-फर’आ शरणार्थी शिविर में भी घुसपैठ की. प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, इजराइली सैनिकों ने कई परिवारों को उनके घरों से निकाल दिया और कुछ इमारतों को सैन्य चौकियों में बदल दिया.
फिलिस्तीनी रेड क्रिसेंट सोसाइटी ने आरोप लगाया कि इजराइली सैनिकों ने उनके डॉक्टरों को अल-फरआ शिविर में एक बीमार फिलिस्तीनी को निकालने से रोका. इस कार्रवाई के कारण टुबास में स्थानीय अधिकारियों ने तमुन और अल-फर’आ शिविरों में स्कूलों को बंद करने का फैसला किया.
शनिवार को जेनिन में हुए इजराइली हवाई हमलों में पांच फिलिस्तीनी मारे गए, जिनमें 16 वर्षीय एक लड़का भी शामिल था. फिलिस्तीनी स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, यह हमले इजराइल के उस बड़े सैन्य अभियान का हिस्सा थे, जो पिछले तीन हफ्तों से जारी है. इजराइली सेना ने 21 जनवरी को उत्तरी वेस्ट बैंक के शहर जेनिन पर हमला करना शुरू किया था, जबकि गाजा में इजराइल और हमास के बीच संघर्ष विराम लागू होने के दो दिन बाद ही यह कार्रवाई शुरू हुई थी.
तब से सैकड़ों इजराइली सैनिक वायुसेना के समर्थन से फिलिस्तीनी इलाकों में घुसे हैं, जहां कथित तौर पर हथियारों और सैन्य उपकरणों की तलाश की जा रही है. हालांकि, इस सैन्य अभियान के कारण वेस्ट बैंक और गाजा में हालात लगातार बिगड़ते जा रहे हैं. इजराइली सेना द्वारा किए जा रहे हमलों और फिलिस्तीनियों के जवाबी विरोध प्रदर्शनों के कारण क्षेत्र में शांति बहाल करना मुश्किल होता जा रहा है.
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पीएसएम/