ईरान का शक्ति प्रदर्शन, मिलिट्री परेड में स्वदेशी मिसाइल और ड्रोन को किया शामिल

तेहरान, 22 सितंबर . ईरान ने सशस्त्र बलों की एक परेड में नई स्वदेशी ‘लॉन्ग रेंज बैलिस्टिक मिसाइल’ और ‘कामिकेज ड्रोन’ को शामिल किया. यह जानकारी अर्ध-सरकारी समाचार एजेंसी फार्स ने दी.

ईरान ने पहली बार सार्वजनिक रूप से जेहाद नामक बैलिस्टिक मिसाइल और शाहिद-136बी नामक ड्रोन का प्रदर्शन किया है.

इन दोनों हथियारों को दक्षिणी तेहरान में इस्लामिक गणराज्य के दिवंगत संस्थापक इमाम खुमैनी की कब्र पर परेड में शामिल किया गया.

रिपोर्ट के अनुसार, यह कार्यक्रम 1980 के दशक में आठ साल तक चले ईरान-इराक युद्ध की याद में मनाए जाने वाले पवित्र रक्षा सप्ताह की शुरुआत है.

जेहाद बैलिस्टिक मिसाइल 1,000 किलोमीटर दूर तक के टारगेट पर सटीक निशाना साध सकती है. इसमें ठोस ईंधन का इस्‍तेमाल होता है.

समाचार एजेंसी शिन्हुआ ने फार्स के हवाले से बताया कि जेहाद मिसाइल को ईरान की इस्लामिक रिवोल्यूशन गार्ड कॉर्प्स (आईआरजीसी) की एयरोस्पेस फोर्स ने डिजाइन और डेवलप किया है.

फार्स के मुताबिक टर्बोजेट इंजन से चलने वाला शाहिद 136बी ड्रोन 2,500 किलोमीटर से अधिक दूरी पर स्थित लक्ष्य को नष्ट कर सकता है. इस मानवरहित व्हीकल को भी आईआरजीसी के एयरोस्पेस फोर्स ने डिजाइन और डेवलप किया है.

परेड में ईरानी राष्ट्रपति मसूद पेजेशकियन ने जोर देकर कहा कि ईरान अपनी रक्षा करने में सक्षम है.

पेजेशकियन ने कहा कि तेहरान अन्य मुस्लिम देशों के सहयोग से पश्चिम एशियाई क्षेत्र में शांति और सुरक्षा सुनिश्चित कर सकता है.

राष्ट्रपति कार्यालय की वेबसाइट पर प्रकाशित एक बयान में कहा गया, “आज, ईरान की रक्षा शक्ति इस स्तर तक बढ़ गई है कि कोई भी ‘शैतान’ देश के खिलाफ किसी भी तरह की आक्रामक कार्रवाई करने की न तो हिम्मत कर सकता है और न ही इस बारे में सोच सकता है.”

इससे पहले ईरानी बॉर्डर गार्ड्स ने एक ऑपरेशन में एक ‘आतंकवादी ग्रुप’ की देश में घुसपैठ की कोशिश को नाकाम कर दिया. स्थानीय मीडिया के मुताबिक आतंकी ग्रुप के दो सदस्य मारे गए.

समाचार एजेंसी शिन्हुआ ने फार्स के हवाले से बताया कि आतंकी शुक्रवार को दक्षिण-पूर्वी प्रांत सिस्तान और बलूचिस्तान के सिरकन शहर के पास बॉर्डर पार कर ईरान में एंट्री की कोशिश कर रहे थे.

ईरान के सीमा रक्षक कमांडर अहमद अली गौदरजी ने कहा कि खुफिया जानकारी के आधार पर बॉर्डर के पास ग्रुप की गतिविधियों का पता चला. इसके बाद ईरानी बॉर्डर गार्ड्स ने ‘आतंकवादियों’ को ‘कड़ा झटका दिया और पराजित’ किया.

सिस्तान और बलूचिस्तान प्रांत पाकिस्तान और अफगानिस्तान सीमा साझा करता है. यहां कुछ वर्षों में नागरिकों और सुरक्षा बलों पर कई आतंकवादी हमले हुए हैं.

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