नई दिल्ली, 20 दिसंबर . केंद्रीय आवास एवं शहरी मामलों के मंत्रालय ने शुक्रवार को कहा कि सरकार के लक्ष्य 2047 तक ‘विकसित भारत’ के तहत देश में शहरी क्षेत्र में निवेश 16 गुणा बढ़ गया है.
100 स्मार्ट सिटी द्वारा उपलब्ध कराए गए आंकड़ों के मुताबिक, स्मार्ट सिटी मिशन (एससीएम) के तहत 1,64,669 करोड़ रुपये की लागत वाली 8,066 परियोजनाओं के लिए कार्य आदेश जारी किए गए हैं, जिनमें से 1,47,366 करोड़ रुपये की लागत वाली 7,352 परियोजनाएं (कुल परियोजनाओं का 91 प्रतिशत) पूरी हो चुकी हैं.
‘स्वच्छ भारत मिशन’ के अंतर्गत पिछले 6 महीनों में (9 जून, 2024 से) सरकार ने नौ राज्यों असम, बिहार, दिल्ली, गुजरात, मध्य प्रदेश, मिजोरम, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश और पश्चिम बंगाल को सॉलिड वेस्ट और यूजड वाटर मैनेजमेंट, सूचना, शिक्षा और संचार (आईईसी) और क्षमता निर्माण परियोजनाओं के लिए 1,123 करोड़ रुपये से अधिक जारी किए हैं.
मंत्रालय के अनुसार, अमृत (कायाकल्प और शहरी परिवर्तन के लिए अटल मिशन) योजना के तहत प्रमुख उपलब्धियों में 4,649 मेगालीटर प्रतिदिन (एमएलडी) वाटर ट्रीटमेंट कैपेसिटी और 4,429 एमएलडी सीवेज ट्रीटमेंट कैपेसिटी का निर्माण शामिल है.
मंत्रालय ने आगे कहा कि ‘अमृत 2.0’ के तहत सरकार जलभराव की चुनौतियों से निपटने के लिए वर्षा जल निकासी प्रणालियों को प्राथमिकता दे रही है. साथ ही पेयजल उपलब्धता और सीवरेज प्रणालियों को बेहतर बनाने के लिए निरंतर प्रयास कर रही है.
प्रधानमंत्री आवास योजना (पीएमएवाई) 2.0 के तहत एक नया किराये का आवास वर्टिकल पेश किया गया है, जिससे प्रवासी आबादी, कामकाजी महिलाओं, औद्योगिक श्रमिकों, बेघरों, छात्रों और अन्य लाभार्थियों को लाभ मिलेगा.
मंत्रालय ने कहा, ” पीएमएवाई-यू 2.0 के तहत 6 लाख से अधिक घरों के लिए सैद्धांतिक मंजूरी दी गई है, यह योजना के कार्यान्वयन में एक महत्वपूर्ण उपलब्धि है.”
सरकार के अनुसार, औद्योगिक केंद्रों और प्रवासी केंद्रों सहित 25 शहरों में वर्तमान में चल रहे एक पायलट प्रोजेक्ट के परिणामों के आधार पर जल्द ही एक नया राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन (एनयूएलएम) शुरू किया जाएगा. मिशन में सामाजिक-आर्थिक उत्थान के लिए लगभग 2.5 करोड़ शहरी गरीब परिवारों को शामिल करने की परिकल्पना की गई है.
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एबीएस/