नई दिल्ली, 29 मई . आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) की दौड़ की बस शुरुआत हुई है और भारतीय एआई मॉडल्स दुनिया की कई समस्याओं का समाधान करेंगे. जी20 शेरपा अमिताभ कांत ने गुरुवार को यह बयान दिया.
अमिताभ कांत ने सीआईआई एनुअल बिजनेस समिट 2025 में कहा, “हमने डिजिटल पब्लिक इन्फ्रास्ट्रक्चर (डीपीआई) में ओपन सोर्स, ओपन एपीआई और ग्लोबल इंटरऑपरेबल मॉडल का उपयोग किया है और ये मॉडल हमारे लिए आगे का रास्ता होंगे.”
कांत ने अपने संबोधन में कहा, “भारत को अच्छे फाउंडेशनल मॉडल विकसित करने चाहिए. मुझे लगता है कि देश आने वाले समय में दुनिया की कई समस्याओं के लिए फाउंडेशनल मॉडल उपलब्ध कराने में सक्षम होगा.”
अमिताभ कांत के अनुसार, भारत विश्व की अनेक चुनौतियों का समाधान ढूंढने के लिए 22 भाषाओं और हजारों बोलियों का उपयोग करेगा.
व्यापार करने में आसानी के बारे में बात करते हुए जी20 शेरपा ने कहा कि केंद्र सरकार ने आधार बनाने का काम किया है और अब राज्यों की ओर से सुधार लाने का समय आ गया है.
उन्होंने उद्योग जगत से भारत के तेज विकास को बनाए रखने के लिए अत्याधुनिक तकनीकों को विकसित करने के लिए अनुसंधान और विकास में निवेश करने का भी आग्रह किया.
अमिताभ कांत ने कहा कि भारतीय उद्योग को विकसित करने के लिए क्वालिटी कंट्रोल ऑर्डर्स (क्यूसीओ) का तर्कसंगत उपयोग किया जाना चाहिए. भारतीय उद्योग को और अधिक प्रतिस्पर्धी बनाने के लिए उन्होंने सुझाव दिया कि राज्य उद्योग को लंबी अवधि के लिए लीज पर भूमि दें और डिस्कॉम को अधिक कुशल बनाने के लिए उनका निजीकरण करें.
अमिताभ कांत ने कहा कि पर्यटन विकास के लिए एक और बेहतरीन क्षेत्र है.
उन्होंने कहा, “पर्यटकों को बड़े पैमाने पर आकर्षित करने के लिए हमें एक विशाल अतुल्य भारत अभियान शुरू करने की आवश्यकता है. यह भारत की सॉफ्ट पावर है. नौकरियों के मामले में इसका बहुत बड़ा गुणक प्रभाव होगा और यह लाखों नौकरियां पैदा कर सकता है. राज्यों को विकास के चालक के रूप में पर्यटन क्षेत्र को आगे बढ़ाना चाहिए.”
सीआईआई के अध्यक्ष पद के लिए मनोनीत (2024-25) और ईवाई इंडिया के चेयरमैन और सीईओ राजीव मेमानी ने कहा कि भारत ने मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में बहुत काम किया है और इस क्षेत्र को और बढ़ावा देने की आवश्यकता है. उन्होंने दूसरी पीढ़ी के सुधारों की आवश्यकता और वैकल्पिक विवाद समाधान की वकालत की.
–
एबीएस/