नई दिल्ली, 23 अक्टूबर . पेरिस ओलंपिक कांस्य पदक विजेता भारतीय पुरुष हॉकी टीम बुधवार को मेजर ध्यानचंद नेशनल स्टेडियम में द्विपक्षीय हॉकी श्रृंखला 2024 के पहले मैच में मौजूदा विश्व चैंपियन और ओलंपिक रजत पदक विजेता जर्मनी से 2-0 से हार गई. जर्मनी के लिए हेनरिक मर्टगेंस (4′) और लुकास विंडफेडर (30′) ने गोल किए. उल्लेखनीय है कि राजिंदर सिंह ने इस मैच में भारतीय पुरुष हॉकी टीम के लिए पदार्पण किया.
जर्मनी ने खेल की शुरुआत में ही भारत के सर्कल में पहला हमला किया और हेनरिक मर्टगेंस ने शूटिंग सर्कल में एक भटकी हुई गेंद पर कृष्ण पाठक को पछाड़कर जर्मनी के लिए मैच का पहला गोल किया. भारत के मैच में पैर जमाने के लिए संघर्ष करने के साथ जर्मनी ने अपनी बढ़त को दोगुना करने की कोशिश की और भारत को अपने ही हाफ में वापस ला दिया.
क्वार्टर के आधे समय में भारत ने जर्मन हाई प्रेस को दरकिनार करते हुए तेजी से गेंद को इधर-उधर करना शुरू किया और पेनल्टी कॉर्नर हासिल किया, लेकिन वरुण कुमार बराबरी करने में विफल रहे. हालांकि, जर्मनी ने गेंद पर फिर से नियंत्रण हासिल किया और क्वार्टर 1-0 से अपने पक्ष में समाप्त किया.
दूसरे क्वार्टर में भारत ने बराबरी की तलाश में जर्मनी को बैकफुट पर रखा. दबाव के कारण भारत को तीन पेनल्टी कॉर्नर मिले, लेकिन संजय, अमित और हरमनप्रीत मौकों का फायदा उठाने में विफल रहे.
क्वार्टर में तीन मिनट बचे होने पर भारत को पेनल्टी स्ट्रोक मिला, लेकिन जर्मन गोलकीपर जोशुआ ओनीक्यू ननाजी ने हरमनप्रीत के शॉट को रोककर खेल में अपनी बढ़त बनाए रखी.
हाफ के आखिरी मिनट में जर्मनी ने पलटवार किया और पेनल्टी कॉर्नर हासिल किया. लुकास विंडफेडर ने आगे बढ़कर गोलकीपर सूरज करकेरा और पोस्टमैन जरमनप्रीत सिंह के बीच गैप पाया और दूसरे हाफ में जर्मनी की बढ़त को दोगुना कर दिया.
भारत ने तीसरे क्वार्टर में तीव्रता बदलने की कोशिश की, लेकिन जर्मनी ने उनका मुकाबला किया और सुनिश्चित किया कि क्वार्टर के अधिकांश समय में कोई स्पष्ट गोल करने का मौका न मिले. पांचवें मिनट में भारत को एक और पेनल्टी कॉर्नर मिला, लेकिन जोशुआ ओनीक्वू नाजी ने गोल में रहते हुए हरमनप्रीत की फ्लिक को बचा लिया. जर्मनी ने तेजी से प्रतिक्रिया करते हुए मैदान पर कदम रखा और खुद को पेनल्टी कॉर्नर दिलाया.
गोलकीपर कृष्ण पाठक ने बेनेडिक्ट श्वार्जहॉप्ट के शॉट को डिफ्लेक्ट किया और भारत ने जर्मनी की रक्षा को अस्थिर करते हुए अपना जवाबी हमला शुरू किया, लेकिन हरमनप्रीत का रिवर्स शॉट केवल साइड नेटिंग तक ही सीमित रहा. आखिरी क्वार्टर शुरू होते ही जर्मनी अपनी बढ़त को और बढ़ाने की कोशिश कर रहा था, लेकिन अमित रोहिदास किसी भी खतरे को टालने के लिए तैयार थे. दूसरी ओर, भारत ने अपने पहले गोल की तलाश में धैर्यपूर्वक गेंद को घुमाना जारी रखा, लेकिन गोल करने के अवसर बनाने में विफल रहा और मैच जर्मनी के पक्ष में 2-0 से समाप्त हुआ.
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आरआर/