इस वर्ष अगस्त में आधार धारकों ने 221 करोड़ से अधिक ऑथेंटिकेशन ट्रांजैक्शन किए

New Delhi, 5 सितंबर . भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (यूआईडीएआई) द्वारा जारी आंकड़ों के अनुसार, आधार-बेस्ड ऑथेंटिकेशन में लगातार मजबूत वृद्धि देखी जा रही है. अगस्त में आधार धारकों ने 221 करोड़ से अधिक ऑथेंटिकेशन ट्रांजैक्शन किए.

यह अगस्त 2024 की तुलना में 10.3 प्रतिशत से अधिक की वृद्धि है, जो दर्शाता है कि आधार भारत की बढ़ती डिजिटल अर्थव्यवस्था के लिए एक महत्वपूर्ण उपकरण बन गया है.

यूआईडीएआई ने कहा कि आधार ऑथेंटिकेशन का बढ़ता उपयोग सुचारू कल्याणकारी वितरण सुनिश्चित करने और लोगों को विभिन्न प्रदाताओं से स्वेच्छा से विभिन्न सेवाओं का उपयोग करने में सक्षम बनाने में इसकी भूमिका को दर्शाता है.

यूआईडीएआई ने कहा, “बढ़ते उपयोग से पता चलता है कि कैसे आधार बेस्ड ऑथेंटिकेशन प्रभावी कल्याणकारी वितरण में एक सुविधाकर्ता की भूमिका निभा रहा है और सेवा प्रदाताओं द्वारा दी जाने वाली विभिन्न सेवाओं का स्वेच्छा से लाभ उठा रहा है.”

विशेष रूप से, फेस ऑथेंटिकेशन का चलन बढ़ रहा है. अगस्त में, इस एआई-पावर्ड मेथड का इस्तेमाल कर 18.6 करोड़ ट्रांजैक्शन किए गए, जो पिछले वर्ष इसी महीने के 6.04 करोड़ ट्रांजैक्शन से काफी अधिक है.

यूआईडीएआई ने बताया कि अब तक कुल मिलाकर 213 करोड़ फेस ऑथेंटिकेशन ट्रांजैक्शन किए जा चुके हैं.

1 सितंबर को, यूआईडीएआई ने 1.5 करोड़ से ज्यादा फेस ऑथेंटिकेशन के साथ, अब तक का सबसे ज्यादा एक दिन का उपयोग दर्ज किया. इससे पहले 1 अगस्त को 1.28 करोड़ का उच्चतम स्तर दर्ज किया गया था.

फेस ऑथेंटिकेशन की यह सुविधा एंड्रॉइड और आईओएस दोनों डिवाइस पर काम करती है, जिससे यूजर्स केवल एक स्कैन से अपनी पहचान सत्यापित कर सकते हैं.

यूआईडीएआई ने कहा कि यह उच्च सुरक्षा मानकों को बनाए रखते हुए लोगों की सुविधा सुनिश्चित करता है. 150 से अधिक सरकारी विभाग, वित्तीय संस्थान, तेल कंपनियां और दूरसंचार ऑपरेटर पहले से ही सेवाएं और लाभ प्रदान करने के लिए इसका उपयोग कर रहे हैं.

आधार की इलेक्ट्रॉनिक नो योर कस्टमर (ई-केवाईसी) सेवाओं का भी व्यापक रूप से उपयोग किया जा रहा है.

अगस्त में 38.53 करोड़ ई-केवाईसी ट्रांजैक्शन दर्ज किए गए. यह सेवा बैंकिंग, वित्तीय सेवाओं और अन्य क्षेत्रों में ग्राहक अनुभव को बेहतर बनाने और प्रक्रियाओं को आसान बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है.

यूआईडीएआई ने कहा कि आधार ऑथेंटिकेशन में निरंतर वृद्धि देश भर में इसकी बढ़ती स्वीकार्यता और एक मजबूत डिजिटल अर्थव्यवस्था के निर्माण में इसके योगदान को दर्शाती है.

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