वक्फ ब‍िल का तार्किक समाधान करे सरकार : राजीव रंजन

पटना, 25 सितंबर . वक्फ संशोधन विधेयक पर संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) 26 सितंबर से 1 अक्टूबर के बीच पांच राज्यों में अनौपचारिक चर्चा करेगी. इस पर प्रतिक्रिया देते हुए जेडीयू प्रवक्ता राजीव रंजन ने कहा कि वह चाहते हैं कि इस मामले का तार्किक समाधान हो.

उन्होंने से बात करते हुए कहा, “वक्फ बोर्ड ब‍िल की संवेदनशीलता को देखते हुए इसे जेपीसी को सौंपा गया है. इस बिल के पक्ष में और विपक्ष में रहे सांसद जेपीसी के सदस्य हैं. इस पर सारे राजनीतिक दल और संवैधानिक संस्थाएं अपनी राय देंगी. देश में राय मशविरा करने के बाद जेपीसी जो भी फैसला करेगी, उस फैसले का हम सम्मान करेंगे. हम यही चाहते हैं कि इस मामले का तार्किक समाधान हो.”

बता दें की वक्फ (संशोधन) विधेयक, 2024 पर संयुक्त संसदीय समिति (जेपीसी) 26 सितंबर से 1 अक्टूबर के बीच पांच राज्यों में अनौपचारिक चर्चा करेगी. इस दौरान वक्फ अधिनियम में प्रस्तावित बदलावों को सरल करने के प्रयास में विभिन्न हितधारकों को शामिल किया जाएगा.

पहली बैठक 26 सितंबर को मुंबई में होगी. इसमें महाराष्ट्र सरकार, अल्पसंख्यक मामलों के मंत्रालय और महाराष्ट्र वक्फ बोर्ड के प्रतिनिधि शामिल होंगे. यह प्रारंभिक बैठक वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन में पारदर्शिता, दक्षता और सशक्तिकरण जैसे महत्वपूर्ण मुद्दों पर ध्यान केंद्रित कर आगामी परामर्शों का मार्ग प्रशस्त करेगी.

अगले दिन, 27 सितंबर को, संयुक्त संसदीय समिति अहमदाबाद, गुजरात में विचार-विमर्श करेगी. इसमें गुजरात सरकार, गुजरात वक्फ बोर्ड और अन्य संबंधित पक्षों के प्रतिनिधि शामिल होंगे.

सरकारी अधिकारियों के अलावा, बार काउंसिल, वकील संघों और मुतवल्ली संघों के कानूनी पेशेवर इस बारे में अपने विचार साझा करेंगे कि प्रस्तावित सुधार राज्य में वक्फ संपत्तियों के प्रबंधन को किस प्रकार प्रभावित कर सकते हैं. इसके बाद 28 सितंबर को जेपीसी हैदराबाद जाएगी, जहां भारत में कई प्रमुख वक्फ संपत्तियां स्थित हैं.

हैदराबाद में होने वाली चर्चा में आंध्र प्रदेश और तेलंगाना के वक्फ बोर्ड के साथ-साथ दोनों राज्यों के राज्य अल्पसंख्यक आयोगों के प्रतिनिधि भी शामिल होंगे. इसके अलावा, छत्तीसगढ़ वक्फ बोर्ड भी इन चर्चाओं में हिस्सा लेगा. जिसके बाद,जेपीसी 30 सितंबर को परामर्श के लिए चेन्नई, तमिलनाडु और फिर एक अक्टूबर को चर्चा के लिए बेंगलुरु, कर्नाटक जाएगी.

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