‘भगवान को फर्क नहीं पड़ता,’ राजामौली के समर्थन में आगे आए राम गोपाल वर्मा, लगाई ट्रोलर्स की क्लास

Mumbai , 21 नवंबर . फिल्म निर्माता-निर्देशक राम गोपाल वर्मा अपनी बेबाकी के साथ सुर्खियों में बने रहते हैं. social media पर वर्मा का लेटेस्ट पोस्ट भी कुछ ऐसा ही है, जिसमें वह फिल्म निर्माता-निर्देशक एसएस राजामौली का समर्थन करते और उन्हें ट्रोल करने वालों को लताड़ लगाते नजर आए.

social media प्लेटफॉर्म एक्स पर एसएस राजामौली को निशाना बना रहे यूजर्स को उन्होंने जमकर खरी खोटी सुनाई. राजामौली के नास्तिक होने को लेकर social media पर चल रहे विवाद पर उन्होंने लंबी पोस्ट लिखकर अपनी बात बेबाकी से रखी.

राम गोपाल ने ‘एक्स’ पर लिखा कि India के संविधान का अनुच्छेद-25 हर व्यक्ति को विश्वास करने या न करने की पूरी आजादी देता है. इसलिए राजामौली को यह कहने का उतना ही हक है कि वे भगवान में विश्वास नहीं करते, जितना हक दूसरों को विश्वास करने का है.

उन्होंने हल्के लहजे में पूछा, “अगर कोई फिल्ममेकर भगवान को फिल्म में दिखाता है, तो क्या उसे भगवान बनना पड़ेगा? गैंगस्टर फिल्म बनाने के लिए गैंगस्टर बनना जरूरी है क्या?”

राम गोपाल ने आगे लिखा कि सबसे मजेदार बात यह है कि भगवान में विश्वास न करने के बावजूद राजामौली को भगवान ने सौ गुना ज्यादा सफलता, पैसा और फैन फॉलोइंग दी है, जितनी ज्यादातर आस्तिक लोग सौ जन्मों में भी नहीं पा सकते. इससे तीन नतीजे निकलते हैं कि या तो भगवान नास्तिकों से ज्यादा प्यार करते हैं या उन्हें कोई फर्क ही नहीं पड़ता या फिर भगवान नोटपैड लेकर यह हिसाब नहीं लगा रहे कि कौन विश्वास करता है और कौन नहीं.

उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि अगर भगवान को राजामौली से कोई दिक्कत नहीं है, तो खुद को भगवान का ठेकेदार समझने वालों को ब्लड प्रेशर और अल्सर क्यों हो रहा है? असली समस्या यह नहीं कि राजामौली नास्तिक हैं, असली समस्या यह है कि बिना भगवान पर विश्वास किए वह इतने सफल हो गए और यह उन लोगों को बर्दाश्त नहीं हो रहा जो घंटों पूजा करने के बाद भी असफल हैं.

अंत में रामू ने लिखा, “राजामौली के नास्तिक होने से भगवान छोटे नहीं हो जाते. इससे सिर्फ कुछ लोगों की असुरक्षा बढ़ती है. इसलिए रिलैक्स करो.”

एमटी/एएस