रांची, 10 अप्रैल . रांची पुलिस ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेता अनिल महतो टाइगर की हत्या करने वाले फरार शूटर अमन सहित चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है. अब तक की जांच में यह खुलासा हुआ है कि उनकी हत्या एक जमीन पर मालिकाना हक को लेकर चल रहे विवाद में हुई थी.
साजिशकर्ता ने इसके लिए शूटरों को सुपारी दी थी. पुलिस जल्द ही पूरे मामले का खुलासा करेगी.
जिला परिषद के पूर्व सदस्य और भाजपा नेता अनिल टाइगर की हत्या 26 मार्च की शाम करीब 4 बजे रांची शहर के कांके चौक पर उस वक्त गोली मारकर कर दी गई थी, जब वे एक होटल में बैठे थे.
इस हत्याकांड को लेकर पूरी रांची उबल पड़ी थी. हत्याकांड के विरोध में 27 मार्च को विभिन्न पार्टियों के आह्वान पर रांची बंद रही थी. हत्या की घटना अंजाम देकर बाइक से भाग रहे दो अपराधियों में एक रोहित वर्मा को पुलिस ने मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार कर लिया था, जबकि दूसरा शूटर अमन भागने में सफल रहा था.
हत्याकांड की जांच के लिए गठित स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम ने टेक्निकल सेल की मदद से फरार शूटर को वारदात के 14 दिन बाद गिरफ्तार किया.
पुलिस सूत्रों के अनुसार, अनिल टाइगर की रेकी करने वाले शख्स और साजिश में शामिल एक अन्य व्यक्ति को अलग-अलग स्थानों पर छापेमारी कर गिरफ्तार किया गया है.
इस मामले में रांची के किशोरगंज निवासी एक अपराधी सन्नी सिंह को भी पुलिस रिमांड पर लेकर पूछताछ कर रही है.
हत्याकांड के बाद गिरफ्तार रोहित वर्मा ने पुलिस को दिए बयान में बताया था कि लोहरदगा जिले में कुछ माह पहले संतोष जायसवाल नामक एक अपराधी की हत्या के प्रतिशोध में अनिल टाइगर की हत्या की गई थी.
उसका कहना था कि अपराधी की हत्या अनिल टाइगर के इशारे पर की गई थी. अब पुलिस की जांच में यह बात सामने आ रही है कि उसने अनुसंधान को गुमराह करने के लिए झूठी कहानी गढ़ी थी.
हत्या के पीछे की असली वजह जमीन विवाद है. एक जमीन कारोबारी ने इसकी साजिश रची थी.
–
एसएनसी/एबीएम