विनियस, 15 नवंबर . डेमोक्रेटिक यूनियन फॉर लिथुआनिया (डीएसवीएल) के नेता और पूर्व प्रधानमंत्री सॉलियस स्क्वेर्नेलिस को चार साल के कार्यकाल के लिए लिथुआनिया के 14वें सेइमास (एक सदनीय विधायी निकाय) का अध्यक्ष चुना गया है.
समाचार एजेंसी सिन्हुआ ने सेइमास हवाले से बताया, गुरुवार को गुप्त मतदान में 107 सांसदों ने उनकी नियुक्ति के पक्ष में मतदान किया, 19 ने विरोध किया, 10 ने मतदान में भाग नहीं लिया और एक मतपत्र रद्द कर दिया गया.
स्क्वेर्नेलिस को अध्यक्ष पद के लिए सोमवार को सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी (एलएसडीपी), डीएसवीएल और डॉन ऑफ नेमुनास (पीपीएनए) के बीच हुए गठबंधन समझौते के माध्यम चुना गया, जिससे सत्तारूढ़ गुट का गठन हुआ.
साल 1970 में काउनास शहर में जन्मे स्क्वेर्नेलिस ने 1994 में लिथुआनियाई पुलिस अकादमी में व्याख्यान देकर अपना कैरियर शुरू किया था. साथ ही वह 2011 में लिथुआनियाई पुलिस के कमिश्नर जनरल जैसे पदों पर कार्य कर चुके हैं.
वह साल 2014 में आंतरिक मंत्री नियुक्त किये गये. वह 2016 से 2020 के बीच देश के प्रधानमंत्री भी रहे.
ज्ञात हो कि 13 अक्टूबर और 27 अक्टूबर को देश में हुए संसदीय चुनावों के बाद, एलएसडीपी 141 संसदीय सीटों में से 52 सीटें हासिल करके अग्रणी पार्टी के रूप में उभरी, जबकि पीपीएनए और डीएसवीएल को क्रमशः 20 और 14 सीटें मिलीं.
बता दें कि इस सप्ताह की शुरुआत में लिथुआनिया की सोशल डेमोक्रेटिक पार्टी (एलएसडीपी), डॉन ऑफ नेमुनास (पीपीएनए) और डेमोक्रेटिक यूनियन ‘फॉर लिथुआनिया’ (डीएसवीएल) ने भविष्य में सेइमास और सरकार में सत्तारूढ़ गठबंधन बनाने के लिए 11 नवंबर को एक समझौते पर हस्ताक्षर किए थे.
गठबंधन समझौते के तहत, गिंटौटस पलुक्कास नई सरकार का नेतृत्व करेंगे, जबकि डीएसवीएल नेता सौलियस स्क्वर्नेलिस सेमास के अध्यक्ष के रूप में काम करेंगे. मंत्रिस्तरीय भूमिकाओं के वितरण में पीपीएनए को तीन मंत्रालय, डीएसवीएल को दो और एलएसडीपी को नौ मंत्रालय आवंटित किए गए हैं.
समझौते में सड़क निधि बनाने, पेंशन के दूसरे स्तर में सुधार करने, जेनोफोबिया से निपटने के प्रयासों को बढ़ाने, सार्वजनिक बिजली आपूर्तिकर्ता को फिर से शुरू करने और शिक्षा सुधारों पर विराम लगाने की प्रतिबद्धताएं शामिल हैं.
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पीएसएम/एमके