धुले, 14 अक्टूबर . दुनियाभर में कहर बरपा रहे मंकीपॉक्स ने अब Maharashtra में भी दस्तक दे दी है. राज्य में इस संक्रमण का पहला मामला धुले जिले में सामने आया है, जिससे जिले में हड़कंप मच गया है. स्वास्थ्य विभाग तुरंत अलर्ट मोड पर आ गया है.
2 अक्टूबर को सऊदी अरब से लौटे 45 वर्षीय एक व्यक्ति में मंकीपॉक्स संक्रमण की पुष्टि हुई. इस मरीज को धुले के Governmentी हिरे मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया, जहां दोनों जांच रिपोर्ट पॉजिटिव आए हैं.
चिकित्सा अधिकारियों ने मरीज को अलग आइसोलेशन वॉर्ड में स्थानांतरित कर तुरंत इलाज शुरू किया. राहत की बात यह है कि मरीज के परिवार के सदस्यों की जांच रिपोर्ट निगेटिव आई, जिससे स्वास्थ्य विभाग ने थोड़ी राहत की सांस ली.
बता दें कि मंकीपॉक्स एक बेहद संक्रामक वायरल बीमारी है, जो इंसानों और जानवरों दोनों को प्रभावित कर सकती है. संक्रमित व्यक्ति की त्वचा, कपड़े, बिस्तर या तौलिया के संपर्क में आने से संक्रमण फैल सकता है. इसके अलावा संक्रमित जानवरों के संपर्क में आने से भी यह वायरस फैल सकता है.
मंकीपॉक्स के लक्षण चेचक से मिलते-जुलते होते हैं, लेकिन इसके असर की गंभीरता चेचक से कम होती है. आमतौर पर संक्रमित व्यक्ति में सिरदर्द, बुखार, मांसपेशियों में दर्द, थकान, कमजोरी और लिम्फ नोड्स में सूजन जैसे लक्षण नजर आते हैं.
इसके साथ ही शरीर पर दाने या चकत्ते दिखाई देते हैं, जो धीरे-धीरे फफोले में बदल जाते हैं. मंकीपॉक्स तेजी से फैलने वाला वायरस है और कई देशों में इसका कहर देखा गया है.
India में अब तक स्थिति नियंत्रण में है, लेकिन संक्रमण के फैलाव को रोकने के लिए सावधानी बेहद जरूरी है. भीड़भाड़ वाली जगहों पर जाने से बचें और विदेश यात्रा से लौटने के बाद स्वास्थ्य की निगरानी करें. साथ ही संक्रमित व्यक्ति से दूरी बनाए रखें और साफ-सफाई का विशेष ध्यान रखें, बार-बार हाथ धोएं और अपना व्यक्तिगत सामान साझा करने से बचें.
यदि किसी व्यक्ति में मंकीपॉक्स के लक्षण दिखाई दें तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए और जांच कराना जरूरी है. विदेश यात्रा के बाद यदि कोई लक्षण महसूस हों तो स्वयं को आइसोलेट करना चाहिए. इसके अलावा डॉक्टर की सलाह के अनुसार मंकीपॉक्स से बचाव के लिए वैक्सीन भी लगवाई जा सकती है.
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पीआईएम/एबीएम