चुनाव आयोग को जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए : सपा

New Delhi, 11 अगस्त . ‘इंडिया’ ब्लॉक के नेताओं ने संसद भवन से चुनाव आयोग के कार्यालय तक विरोध मार्च निकाला, इस दौरान Police ने उन्हें हिरासत में ले लिया. विपक्ष आयोग पर कथित तौर पर वोट चोरी का आरोप लगा रहा है. Samajwadi Party (सपा) ने भी विरोध मार्च में हिस्सा लिया. इस दौरान पार्टी ने आयोग से जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की.

Samajwadi Party के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं सांसद अखिलेश यादव ने कहा, “मैं जल्द ही आपको एक मुद्रित हलफनामा उपलब्ध कराने का प्रयास करूंगा, जिसमें पुष्टि की जाएगी कि हमने 18,000 वोटों के विलोपन के संबंध में शिकायत दर्ज कराई थी. चुनाव आयोग को सबसे पहले इस मामले और इसके लिए जिम्मेदार अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई करनी चाहिए.”

उन्होंने कहा, “पहली बार चुनाव आयोग पर उंगलियां नहीं उठ रही हैं, पहले भी कई बार इसकी आलोचना हो चुकी है. खासकर उत्तर प्रदेश के चुनावों को लेकर Samajwadi Party ने बार-बार अपनी चिंताएं जताई हैं. पिछले उपचुनावों के दौरान धन के दुरुपयोग और कैसे Government अधिकारियों की मदद से वोट चोरी और धांधली में लगी हुई थी, इसकी शिकायत की गई थी.”

सपा सांसद डिंपल यादव ने कहा, “हम यह मुद्दा इसलिए उठा रहे हैं क्योंकि बूथ कैप्चरिंग के साथ-साथ प्रशासन और Government की पूरी साजिश थी.”

पार्टी प्रवक्ता एवं सांसद आनंद भदौरिया ने कहा, “इस देश में मतदाता सूची में अनियमितताओं के बारे में पहला मुद्दा Samajwadi Party और हमारे नेता अखिलेश यादव ने उठाया था. Samajwadi Party के समर्थकों के नाम मतदाता सूची से हटाकर, भारतीय जनता पार्टी को उत्तर प्रदेश में चुनाव जीतने में मदद मिली.”

वरिष्ठ सपा सांसद राजीव कुमार राय ने कहा, “आज वोट चोरी में पकड़े जाने पर चुनाव आयोग हठधर्मिता से कह रहा है, ‘हलफनामा दो या माफ़ी मांगो.’ मैं चुनाव आयोग से पूछना चाहता हूं, हमने सबूतों के साथ अठारह हजार सैंपल हलफनामे जमा किए, और तब से आप चुप और निष्क्रिय रहे. जब लोकतंत्र को कुचला जा रहा हो, वोट चुराए और लूटे जा रहे हों, और संसद में हमारी आवाज नहीं सुनी जा रही हो, तब हम महज मूकदर्शक नहीं बने रह सकते.”

सांसद रामगोपाल यादव ने कहा, “देश के संविधान में निहित हमारे मौलिक अधिकारों में से एक बिना किसी बाधा के स्वतंत्र रूप से विरोध करने का अधिकार है.”

सपा सांसद इकरा चौधरी ने कहा, “हम चाहते हैं कि लोकतंत्र की हत्या और वोट चोरी बंद हो, और एसआईआर को बहाल किया जाए.”

वहीं, सीपीआई(एम) के राज्यसभा सांसद जॉन ब्रिटास ने कहा, “मतदाता सूचियों में गड़बड़ी के जरिए हो रही हेराफेरी और धोखाधड़ी के खिलाफ विपक्षी दलों के पास विरोध करने के अलावा कोई विकल्प नहीं है. हमारा मानना है कि एक संवैधानिक संस्था होने के नाते चुनाव आयोग को विपक्षी दलों की ओर से पेश किए गए सबूतों की जांच करनी चाहिए.”

एससीएच/एएस