मुंबई, 27 नवंबर . शिवसेना के अध्यक्ष और महाराष्ट्र के कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने मंगलवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में महाराष्ट्र में अलगे सीएम का रास्ता साफ कर दिया. उन्होंने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि सीएम बनाने के लिए पीएम मोदी का फैसला सर्वमान्य होगा. बीजेपी का सीएम मुझे मंजूर होगा.
उन्होंने कहा, “महाराष्ट्र में सरकार बनाने के लिए मेरी तरफ से कोई अड़चन नहीं है. पीएम मोदी जो निर्णय लेंगे, वह मुझे मंजूर होगा. मैं चट्टान की तरह पीएम मोदी के साथ खड़ा हूं. पीएम मोदी भी चट्टान की तरह मेरे साथ खड़े हैं. बीजेपी का मुख्यमंत्री मुझे मंजूर होगा. मुझे पीएम मोदी और अमित शाह का फैसला मंजूर है. पीएम मोदी जो कुछ भी निर्णय लेंगे, वो शिवसेना को मंजूर है. महायुति मजबूत है और हम सब मिलकर काम करने को तैयार हैं.”
उन्होंने कहा, “मैंने अपने आप को कभी राज्य का सीएम नहीं समझा. मैंने हमेशा राज्य में आम आदमी बनकर कार्य किया. ढाई साल में हमने खूब काम किया. मुख्यमंत्री का मतलब कॉमन मैन होता है. मैंने यही सोचकर काम किया. हमें लोगों के लिए काम करना चाहिए. मुझे पीएम मोदी का हमेशा साथ मिला. महाराष्ट्र में प्रगति की रफ्तार को हमने बढ़ाया. महाराष्ट्र की लाडली बहनों का मैं लाडला भाई हूं. हमारी सरकार में लाडली बहनें खुश हैं. हम अपने गठबंधन के साथ मिलकर काम करने वाले लोग हैं. राज्य में हमारी सरकार के बाद हमारी लोकप्रियता बढ़ी है. मैंने हमेशा महाराष्ट्र की जनता के लिए काम किया है. कुछ लोग सोने का चमचा लेकर जन्मे हैं, उन्हें गरीबों का दर्द कहां समझ आएगा.”
महाराष्ट्र के कार्यवाहक मुख्यमंत्री शिंदे ने कहा कि हमें चुनाव में जनता का अपार प्यार और विश्वास प्राप्त हुआ है, इसके लिए मैं सभी का दिल से आभार व्यक्त करता हूं. हमने लाडली बहना योजना पर अत्यंत प्रभावी तरीके से काम किया. मैं हमेशा एक कार्यकर्ता की भावना से काम करता रहा हूं, कभी भी खुद को मुख्यमंत्री नहीं समझा. मुख्यमंत्री का मतलब आम आदमी होता है, यही सोचकर मैंने कार्य किया. हमें हमेशा जनता के भले के लिए काम करना चाहिए. मैंने नागरिकों की कठिनाइयां देखी हैं और समझा है कि उन्होंने किस तरह से अपने घर का प्रबंधन किया.
उन्होंने आगे कहा, “मैंने कहा कि ‘प्यारे भाई’ की पहचान सभी उपाधियों से बढ़कर है. मैंने खुद पीएम मोदी को फोन करके कहा था कि सरकार बनाते वक्त आप ये मत सोचना कि मुझे फैसले लेने में कोई दिक्कत होगी.आपने हमारी मदद की. ढाई साल का मौका दिया गया. इस राज्य का विकास करना है. तो, आप तय करें. अपना निर्णय लें. महायुति के मुखिया के तौर पर आप जो निर्णय लेंगे, वह बीजेपी के साथ-साथ हमारे लिए भी अंतिम होगा. मुझे कोई समस्या नहीं होगी. मैंने मंगलवार को पीएम मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह को फोन किया. अपनी भावनाएं बताईं. मैंने कहा है कि सरकार बनाने में मुझे कोई आपत्ति नहीं होगी.”
उन्होंने कहा, “मैं एक सामान्य किसान परिवार से हूं, मैंने उनके दुख-दर्द देखे हैं. मां, पत्नी का विषय प्रस्तुत किया गया. मितव्ययी कैसे होना है, मासिक घर कैसे चलाना है, योजना कैसे बनानी है, यह शुरू से ही मेरे दिमाग में था. जिस दिन ऐसा अधिकार मेरे पास आएगा, मुझे आम लोगों, प्रिय बहनों, भाइयों, किसानों, बुजुर्गों, रोगियों के लिए कुछ करना होगा. मुझे ऐसी अनुभूति हुई.”
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पीएसएम/एबीएम