![]()
मैसूर (कर्नाटक), 13 सितंबर . कर्नाटक Government के मैसूर दशहरा महोत्सव को लेकर लिए फैसले पर Political विवाद छिड़ गया है. अंतर्राष्ट्रीय बुकर पुरस्कार विजेता बानू मुश्ताक को न्योता दिया गया और कहा गया कि 22 सितंबर को उनके हाथों मैसूर दशहरा उत्सव का उद्घाटन कराया जाएगा. सियासी बयानबाजी पर Chief Minister सिद्दारमैया ने Saturday को जवाब दिया. उन्होंने कहा कि ये सांस्कृतिक महोत्सव है किसी एक धर्म विशेष का नहीं.
Saturday को मैसूर में मीडिया से बात करते हुए, Chief Minister सिद्दारमैया ने कहा, “सांस्कृतिक रूप से, सभी धर्मों के लोग दशहरा उत्सव में भाग लेते हैं. दशहरा एक राजकीय उत्सव है, जो किसी एक धर्म या समुदाय तक सीमित नहीं है. सभी जातियों और धर्मों के लोग इसमें भाग ले सकते हैं.”
उन्होंने आगे कहा कि अगर पूर्व BJP MP प्रताप सिंह ने शांति भंग करने की कोशिश की, तो Police कार्रवाई करेगी.
धर्मस्थल मामले में विशेष जांच दल (एसआईटी) की पड़ताल में कथित देरी के बारे में मीडिया के सवालों का जवाब देते हुए, Chief Minister ने कहा कि कोई देरी नहीं हुई है.
उन्होंने कहा, “एसआईटी स्वतंत्र रूप से अपनी जांच कर रही है और Government इसमें हस्तक्षेप नहीं कर रही है. अनावश्यक देरी का कोई कारण नहीं है, और जहां तक मुझे पता है, कोई देरी नहीं हुई है.”
मद्दुर शहर में गणेश विसर्जन हिंसा के बाद कथित रूप से भड़काऊ भाषण देने के आरोप में भाजपा एमएलसी सी.टी. रवि और विधायक बसनगौड़ा यतनाल के खिलाफ दर्ज प्राथमिकियों पर, Chief Minister ने कहा कि शांति और व्यवस्था बनाए रखना आवश्यक है. भड़काऊ भाषण देने वाले किसी भी व्यक्ति के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी और यह कोई Political मामला नहीं है.
यह पूछे जाने पर कि क्या यह हिंदुओं के खिलाफ योजनाबद्ध तरीके से किया गया हिंसक कृत्य था, Chief Minister सिद्दारमैया ने कहा कि वह “भी एक हिंदू हैं, और ईश्वर और राम, दोनों नाम मेरे नाम का हिस्सा हैं.”
हासन जिले में गणेश विसर्जन त्रासदी, जिसमें नौ लोग मारे गए और 20 घायल हुए, के बारे में बात करते हुए, Chief Minister सिद्दारमैया ने कहा, “Government द्वारा मृतकों के परिवारों को मुआवजा देना, किसी के नुकसान की भरपाई नहीं कर सकता. शोक संतप्त परिवारों के प्रति संवेदना के रूप में मुआवजा दिया जाता है.”
सड़क दुर्घटना में मारे गए लोगों के परिवारों के लिए 5 लाख के मुआवजे को बढ़ाकर 10 लाख रुपए करने की भाजपा की मांग पर प्रतिक्रिया देते हुए, Chief Minister सिद्दारमैया ने स्पष्ट किया कि Government पहले ही 5 लाख रुपए की घोषणा कर चुकी है.
Chief Minister ने आगे कहा कि उन्होंने हासन के प्रभारी मंत्री कृष्णा बायरे गौड़ा को मृतकों के परिवारों से मिलने और मुआवजे की घोषणा करने का निर्देश दिया है.
एक पत्रकार द्वारा यह पूछे जाने पर कि क्या Government अतिरिक्त मुआवजा दे रही है क्योंकि मृतकों में ज्यादातर मजदूर और छात्र थे, Chief Minister ने कहा कि Government 5 लाख रुपये का मुआवजा दे रही है क्योंकि मृतकों के परिवार आर्थिक रूप से पिछड़े हैं.
राज्य में जातीय हिंसा भड़कने के लगभग तीन साल बाद Prime Minister Narendra Modi के मणिपुर दौरे पर, Chief Minister ने प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि यह दौरा स्थिति में सुधार के बाद ही हुआ था, न कि तब जब अशांति चल रही थी.
उन्होंने सवाल किया कि अशांति के दौरान मणिपुर का दौरा पहले क्यों नहीं किया गया और कहा कि यह दौरा अब विपक्ष के दबाव के कारण हो रहा है.
कर्नाटक के अलमाटी बांध की ऊंचाई बढ़ाने पर Maharashtra के Chief Minister की आपत्ति के बारे में, Chief Minister ने कहा कि अदालत ने 2010 में ही बांध की ऊंचाई 519 मीटर से बढ़ाकर 524 मीटर करने का आदेश दिया था और अब, 15 साल बाद, Political कारणों से आपत्ति उठाई जा रही है.
–
केआर/