देश में 7 प्रतिशत की दर से बढ़ रहा प्रत्यक्ष कर संग्रह, चालू वित्त वर्ष में 25 लाख करोड़ रुपए के पार पहुंचने का अनुमान

New Delhi, 17 नवंबर . देश का प्रत्यक्ष कर संग्रह चालू वित्त वर्ष (वित्त वर्ष 26) में सात प्रतिशत की दर से बढ़ रहा है और इसके 25 लाख करोड़ रुपए से अधिक पहुंचने का अनुमान है. यह जानकारी एक वरिष्ठ अधिकारी की ओर से Monday को दी गई.

इंडिया इंटरनेशनल ट्रेड फेयर के साइडलाइन में बातचीत करते हुए केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) के चेयरमैन रवि अग्रवाल ने कहा कि चालू वित्त वर्ष के अंत तक आयकर संग्रह Government की ओर से निर्धारित किए गए लक्ष्य 25.20 लाख करोड़ रुपए पर पहुंचने की उम्मीद है.

उन्होंने आगे कहा कि देश का प्रत्यक्ष कर संग्रह पिछले साल के मुकाबले 6.99 प्रतिशत की दर से बढ़ रहा है और यह काफी उत्साहजनक है.

देश का शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह एक अप्रैल से लेकर 10 नवंबर की अवधि में पिछले साल के मुकाबले सालाना आधार पर 6.99 प्रतिशत बढ़कर 12.92 लाख करोड़ रुपए से अधिक हो गया है. इसकी वजह धीमा रिफंड और कॉरपोरेट टैक्स में जबरदस्त बढ़ोतरी है.

10 नवंबर तक रिफंड सालाना आधार पर 18 प्रतिशत कम होकर 2.42 लाख करोड़ रुपए हो गया है.

अग्रवाल ने कहा कि वित्तीय वर्ष 2024-2025 के लिए ऑडिट रिटर्न जमा करने की समय सीमा बढ़ा दी गई है और चालू वित्त वर्ष के लिए अभी भी दो अग्रिम कर किश्तें बकाया हैं.

इससे पहले के सीबीडीटी के आंकड़ों के अनुसार, India का शुद्ध प्रत्यक्ष कर संग्रह इस वित्त वर्ष 17 सितंबर तक पिछले वित्त वर्ष की समान अवधि की तुलना में 9.18 प्रतिशत बढ़कर 10.82 लाख करोड़ रुपए को पार कर गया, जबकि रिफंड में 23.87 प्रतिशत की तेज गिरावट देखी गई थी.

इस दौरान गैर-कॉर्पोरेट कर राजस्व 13.67 प्रतिशत बढ़कर 5.83 लाख करोड़ रुपए हो गया.

आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, शुद्ध कॉर्पोरेट कर संग्रह 4.93 प्रतिशत बढ़कर 4.72 लाख करोड़ रुपए हो गया, जबकि प्रतिभूति लेनदेन कर (एसटीटी) 0.57 प्रतिशत की मामूली वृद्धि के साथ 26,305.72 करोड़ रुपए हो गया. सकल प्रत्यक्ष कर संग्रह 3.39 प्रतिशत बढ़कर 12.43 लाख करोड़ रुपए हो गया, जबकि रिफंड 23.87 प्रतिशत घटकर 1.60 लाख करोड़ रुपए रह गया.

एबीएस/