दिल्ली सरकार ने फिर शुरू की ‘मुख्यमंत्री जय भीम योजना’

नई दिल्ली, 18 अक्टूबर . आम आदमी पार्टी (आप) के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली की मुख्यमंत्री आतिशी के साथ मिलकर एक बार फिर ‘मुख्यमंत्री जय भीम योजना’ शुरू करने की घोषणा की. इस योजना के तहत दिल्ली में गरीब परिवार के बच्चों, दलित, ओबीसी समाज के गरीब बच्चों को 12वीं के बाद एंट्रेंस एग्जाम की तैयारी करने के लिए मुफ्त कोचिंग मुहैया कराई जाएगी और उनको जेब खर्च भी दिया जाएगा.

अरविंद केजरीवाल ने कहा कि बीजेपी वालों ने दिल्लीवालों को परेशान करने में कोई कसर नहीं छोड़ी. दिल्ली के लोगों को मैं तकलीफ में नहीं देख सकता, दिल्लीवाले मेरे परिवार का हिस्सा हैं. अब मैं जेल से बाहर आ गया हूं और बीजेपी द्वारा रोके गए सभी कामों को हम दोबारा शुरू करा रहे हैं. इसी क्रम में दिल्ली सरकार ‘मुख्यमंत्री जय भीम योजना’ को दोबारा शुरू कर रही है.

अरविंद केजरीवाल ने बताया कि ‘मुख्यमंत्री जय भीम योजना’ के तहत दलित, एससी-एसटी, ओबीसी और ईडब्ल्यूएस समाज के बच्चों को प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी मुफ्त में कराई जाएगी. अब गरीबों के बच्चे भी तरक्की करके देश के विकास में अपना योगदान देंगे.

उन्होंने कहा कि अरविंद केजरीवाल को जेल भेजने का षड्यंत्र रचकर ‘मुख्यमंत्री जय भीम योजना’ को ठप कर दिया गया था. लेकिन, शिक्षा के जरिए गरीब और वंचित वर्ग के बच्चों को आगे बढ़ाने के अरविंद केजरीवाल के विजन के आगे ये सारे षड्यंत्र धराशायी हो गए. इस योजना के जरिये प्रतियोगी परीक्षा की फ्री कोचिंग पाकर अब युवा दोबारा अपने सपनों को पूरा कर सकेंगे.

अरविंद केजरीवाल ने बताया कि दिल्ली में पुरानी सरकारों ने कोई काम नहीं किया था और इसलिए उन्हें एलजी से टकराना नहीं पड़ता था. मनीष सिसोदिया ने स्कूल बनाए और इसलिए उन्हें जेल जाना पड़ा. अगर हम भी कुछ काम ना करें तो हमें भी संघर्ष नहीं करना पड़ेगा. हमारी किसी पार्टी से दुश्मनी नहीं है, हम व्यवस्था को ठीक करना चाहते हैं. बीजेपी वालों ने ‘फरिश्ते योजना’ भी बंद करा दी थी. लेकिन, अब हमने इसे दोबारा चालू करा दिया है. इस योजना के तहत सड़क हादसे में घायल व्यक्ति को किसी भी अस्पताल में भर्ती कराया जा सकेगा और भर्ती कराने वाले से कोई सवाल नहीं पूछा जाएगा. इसके साथ घायल व्यक्ति के इलाज में आया पूरा खर्च दिल्ली सरकार उठाएगी. इस योजना की वजह से अब तक हम लोग 26 हजार से ज्यादा लोगों की जान बचा चुके हैं.

पीकेटी/एबीएम