Bhopal , 3 जुलाई . मध्य प्रदेश के Chief Minister मोहन यादव ने Thursday को कहा कि भारतीय संस्कृति में माता-बहनों को सर्वोच्च सम्मान दिया गया है. State government नारी सशक्तीकरण के लिए प्रतिबद्ध है और इस दिशा में हरसंभव प्रयास जारी हैं.
Chief Minister यादव ने राज्य स्तरीय महिला मॉक पार्लियामेंट को संबोधित करते हुए कहा कि आज नरसिंहपुर जिले में एसपी और कलेक्टर दोनों पद महिला अधिकारियों के पास हैं. शहडोल संभाग की संभागायुक्त भी महिला ही हैं. प्रदेश की मुख्य सचिव भी महिला अधिकारी रह चुकी हैं. महिला सुरक्षा के प्रति State government विशेष रूप से संवेदनशील है. मध्य प्रदेश पहला राज्य है, जिसने दुष्कर्म के मामलों में सबसे पहले फांसी का प्रावधान किया है.
इससे पहले, उन्होंने दीप प्रज्वलित कर पीपुल्स यूनिवर्सिटी ऑडिटोरियम में हुए कार्यक्रम का शुभारंभ किया. उन्होंने तुलसी का पौधा और अंगवस्त्र भेंटकर मीसाबंदी तपन भौमिक का सम्मान किया. उन्होंने प्रतिभागियों से आपातकाल संबंधी विषयों पर भी चर्चा की.
मोहन यादव ने कहा कि महिला मॉक पार्लियामेंट एक वैचारिक मंच है. संविधान की भावना और लोकतांत्रिक मूल्यों की हर स्थिति में रक्षा करना सभी नागरिकों का दायित्व है. देश और हम सभी के व्यक्तित्व विकास में इन दोनों बिंदुओं का महत्वपूर्ण स्थान है. मॉक पार्लियामेंट जैसी पहल से युवाओं में देश की राजनीतिक व्यवस्था की समझ विकसित होती है. युवा पीढ़ी को 50 साल पहले के आपातकाल के इतिहास से परिचित कराना जरूरी है.
उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी द्वारा लोकतांत्रिक मूल्यों को बनाए रखने के लिए दिए गए योगदान का स्मरण किया. Chief Minister ने विद्यार्थियों से बाबा साहेब डॉ. भीमराव अंबेडकर के विचारों, धारा 370, तीन तलाक, आतंकवादी गतिविधियों के खिलाफ हुई सैन्य कार्रवाई, संविधान संशोधनों और राजनीतिक मंशा के औचित्य आदि विषयों पर विस्तृत चर्चा की.
कार्यक्रम में केंद्रीय महिला एवं बाल विकास राज्यमंत्री सावित्री ठाकुर, खेल एवं युवा कल्याण मंत्री विश्वास कैलाश सारंग, पिछड़ा वर्ग एवं अल्पसंख्यक कल्याण राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार) कृष्णा गौर, महापौर मालती राय, सांसद वी.डी. शर्मा, राज्यसभा सांसद माया नारोलिया समेत अन्य उपस्थित थे.
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एबीएम/एकेजे