मुंबई सीरियल ब्लास्ट के मास्टरमाइंड टाइगर मेमन की संपत्तियों पर केंद्र सरकार का कब्जा तय, कोर्ट का आदेश

मुंबई, 1 अप्रैल . मुंबई की एक विशेष टाडा कोर्ट ने बड़ा फैसला सुनाते हुए 1993 के सिलसिलेवार बम धमाकों के मुख्य साजिशकर्ताओं में से एक टाइगर मेमन और उसके परिवार की 14 संपत्तियों को केंद्र सरकार को सौंपने का आदेश दिया है. इन संपत्तियों में फ्लैट, खाली प्लॉट, ऑफिस और दुकानें शामिल हैं, जो अब सरकार के अधीन आ जाएंगी.

बता दें कि 1993 में मुंबई में हुए सीरियल बम धमाकों के बाद, टाडा कोर्ट ने 1994 में टाइगर मेमन और उसके परिवार की संपत्तियों को अटैच करने का आदेश दिया था. उस समय से ये संपत्तियां बॉम्बे हाईकोर्ट के ‘कोर्ट रिसीवर’ के अधीन थीं. अब टाडा कोर्ट ने स्पष्ट निर्देश दिया है कि इन सभी अचल संपत्तियों को केंद्र सरकार को सौंप दिया जाए.

टाइगर मेमन 1993 बम धमाकों का मास्टरमाइंड माना जाता है और वह अभी भी फरार है. धमाकों की साजिश रचने, उन्हें अंजाम तक पहुंचाने और आतंकी संगठनों से संबंध रखने के आरोप में उसके भाई याकूब मेमन को 2015 में फांसी दी जा चुकी है.

टाइगर मेमन के नाम से मशहूर मुश्ताक अब्दुल रज्जाक मेमन एक गैंगस्टर और वांटेड आतंकवादी है. वह इंटरपोल और सीबीआई की वांटेड लिस्ट में शामिल है. वह दाऊद इब्राहिम के नेतृत्व वाले गिरोह डी-कंपनी का सदस्य रह चुका है. उसे दाऊद का राइट हैंड भी माना जाता है.

1993 में हुए इन बम धमाकों में 250 से अधिक लोग मारे गए थे और सैकड़ों घायल हुए थे. यह हमला देश के सबसे घातक आतंकवादी हमलों में से एक था, जिसमें अंडरवर्ल्ड डॉन दाऊद इब्राहिम और टाइगर मेमन का नाम सामने आया था.

नियमों के अनुसार, टाडा कोर्ट के इस फैसले के बाद, अब केंद्र सरकार इन संपत्तियों का उपयोग कर सकती है. इस आदेश को आतंकवाद से जुड़े मामलों में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है, क्योंकि इससे फरार अपराधियों की अवैध संपत्तियों पर सरकार की सीधी कार्रवाई का संदेश जाता है.

डीएससी/एबीएम