नई दिल्ली, 28 दिसंबर . वित्त मंत्रालय के व्यय विभाग (डीओई) ने वित्त वर्ष 2024-25 में प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डीबीटी) के तहत कवर की गई 1,206 योजनाओं के लिए फंड का रियल टाइम में ट्रांसपेरेंट वितरण किया है. इससे रिकॉर्ड 2.23 लाख करोड़ रुपये के लेनदेन हुए हैं.
समीक्षा में कहा गया है, “इस पहल ने 117 बाहरी सिस्टम के साथ इंटीग्रेशन और प्रमुख बैंकों के साथ इंटरफेस द्वारा डिजिटल इंडिया मिशन को सपोर्ट किया है, जिससे दक्षता और जवाबदेही बढ़ी है.”
यह सिस्टम फंड के रिलीज से लेकर लाभार्थियों के अकाउंट तक राशि पहुंचने की पूरी ट्रैकिंग करता है, जिसके परिणामस्वरूप लीकेज को रोका जाता है.
15वें वित्त आयोग की सिफारिशों के अनुरूप, डीओई ने अतिरिक्त उधार क्षमता, प्रदर्शन से जुड़े प्रोत्साहन, आपदा के लिए अनुदान, स्वास्थ्य सेवा और क्षेत्रीय विकास के लिए अनुदान की सुविधा देकर राज्य के वित्त को भी मजबूत किया है.
वित्त वर्ष 2024-25 के लिए, शुद्ध उधार सीमा 9.40 लाख करोड़ रुपये निर्धारित की गई थी, जिसमें सकल राज्य घरेलू उत्पाद का अतिरिक्त 0.5 प्रतिशत बिजली क्षेत्र के सुधारों के लिए आवंटित किया गया था.
रिपोर्ट में कहा गया है कि इन उपायों का उद्देश्य परिचालन दक्षता को बढ़ावा देना और राज्यों में आर्थिक स्थिरता को बढ़ावा देना है.
पब्लिक प्रोक्योरमेंट रिफॉर्म्स (सार्वजनिक खरीद में सुधार) एक प्रमुख फोकस बना हुआ है, जिसमें सामान्य वित्तीय नियमों के तहत वित्तीय सीमा में वृद्धि और 2024 में संशोधित खरीद मैनुअल जारी किया गया है. ये अपडेट खरीद प्रक्रियाओं में व्यापार करने में आसानी, पारदर्शिता और स्पष्टता को प्राथमिकता देते हैं.
रिपोर्ट में कहा गया है कि वित्तीय शक्तियों के नियम, 2024 का प्रतिनिधिमंडल विभागों और व्यक्तियों को सशक्त बनाकर, वित्तीय प्रबंधन में दक्षता और जिम्मेदारी को बढ़ावा देकर निर्णय लेने को और सरल बनाता है.
डीओई ने एकीकृत पेंशन योजना (यूपीएस) के साथ सरकारी कर्मचारियों के लिए सामाजिक सुरक्षा सुधार भी पेश किए हैं, जो सेवानिवृत्त कर्मियों के लिए सुनिश्चित पेंशन की गारंटी देता है.
1 अप्रैल, 2025 से लागू होने वाली यह योजना अपने कर्मचारियों के कल्याण को सुरक्षित करने के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाती है.
रिपोर्ट में कहा गया है कि डिजिटल टेक्नोलॉजी को इंटीग्रेट कर, वित्तीय स्वायत्तता को सशक्त बनाकर और आपदा वसूली और सामाजिक सुरक्षा जैसी महत्वपूर्ण जरूरतों के जरिए डीओई पूंजी निवेश को सपोर्ट कर सरकार को शक्तिशाली बनाने की ओर कदम बढ़ा रहा है.
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एसकेटी/केआर