बांग्लादेश की अदालत ने शेख हसीना के पूर्व सैन्य सचिव और परिजनों पर लगाया विदेश यात्रा प्रतिबंध

ढाका, 19 अगस्त . ढाका की एक अदालत ने Tuesday को बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के पूर्व सैन्य सचिव मेजर जनरल (सेवानिवृत्त) सलाहुद्दीन मियांजी और उनके तीन परिजनों पर भ्रष्टाचार के आरोपों को लेकर विदेश यात्रा पर प्रतिबंध लगा दिया.

प्रतिबंधित परिजनों में उनकी पत्नी नजमा बेगम और बेटियां समीहा सबनम व राइसा सबनम शामिल हैं. यह आदेश ढाका मेट्रोपॉलिटन सीनियर स्पेशल जज की अदालत के न्यायाधीश जाकिर हुसैन गालिब ने भ्रष्टाचार दमन आयोग (एसीसी) के उप-निदेशक रेजाउल करीम की अर्जी पर सुनवाई के बाद सुनाया.

अर्जी में आरोप लगाया गया कि मियांजी ने अवैध तरीकों से बड़ी धनराशि अर्जित की और सत्ता के दुरुपयोग से जेशोर के चांचड़ा यूनियन में जमीन कब्जाई. उन्होंने लगभग 400 बीघा जमीन पर एक पार्क भी विकसित किया. एसीसी ने अदालत को बताया कि मियांजी और उनका परिवार देश से फरार होने की कोशिश कर रहा था, जिससे जांच प्रभावित हो सकती थी.

गौरतलब है कि 18 फरवरी को मियांजी और उनके साले को जेशोर सदर उपज़िला के चांचड़ा यूनियन स्थित उनके निजी श्यामल छाया पार्क से गिरफ्तार किया गया था. स्थानीय लोगों और छात्रों ने उन्हें घेर लिया था, जिसके बाद संयुक्त बल मौके पर पहुंचा और उन्हें पुलिस के हवाले कर दिया.

इस बीच, Monday को बांग्लादेश की एक अन्य अदालत ने पूर्व कानून मंत्री अनीसुल हक को पिछले साल जुलाई में हुए प्रदर्शनों से जुड़े दो मामलों में गिरफ्तार दिखाने का आदेश दिया. इसी तरह, पूर्व चुनाव आयोग सचिव हेलालुद्दीन अहमद को भी चुनाव हेरफेर के आरोपों में ढाका के शेर-ए-बांग्ला नगर थाने में दर्ज एक मामले में हिरासत में लिया गया.

स्थानीय मीडिया के मुताबिक, अनीसुल हक पर एक बिजलीकर्मी मोहम्मद शावन सिकदर की हत्या और अशरफुल उर्फ फाहिन की हत्या की कोशिश का आरोप है. शावन को 19 जुलाई 2024 को ढाका के ईडन कॉलेज के सामने गोली मार दी गई थी. इस घटना को लेकर जनवरी में शेख हसीना समेत 40 लोगों पर केस दर्ज हुआ था.

इसी तरह, फाहिन ने भी मई में केस दर्ज कराते हुए आरोप लगाया कि 18 जुलाई 2024 को आजीमपुर सरकारी कॉलोनी में उन्हें गोली मारी गई थी.

पूर्व चुनाव आयोग सचिव हेलालुद्दीन पर 10वीं से 12वीं संसदीय चुनावों में धांधली और राजद्रोह के आरोप भी लगाए गए हैं. यह केस 22 जून को बीएनपी नेता सलाह उद्दीन खान ने दर्ज कराया था. बाद में 25 जून को उन पर धोखाधड़ी और गबन के अतिरिक्त आरोप भी जोड़े गए.

डीएससी/