पुंछ, 31 जनवरी . सेना ने जम्मू-कश्मीर के पुंछ जिले में नियंत्रण रेखा (एलओसी) पर घुसपैठ की कोशिश को नाकाम कर दिया और दो आतंकवादियों को मार गिराया.
नगरोटा स्थित व्हाइट नाइट कॉर्प्स ने बताया कि गुरुवार रात एलओसी पर आतंकवादी गतिविधि का पता चला. सतर्क सैनिकों ने घुसपैठ की कोशिश कर रहे आतंकवादियों को घेर लिया.
इसके बाद मुठभेड़ में दो आतंकवादी मारे गए. सेना ने बाद में इलाके में तलाशी अभियान चलाया और हथियार व युद्ध सामग्री बरामद की. सेना ने कहा कि ऑपरेशन अभी जारी है.
व्हाइट नाइट कॉर्प्स ने एक पोस्ट में कहा, “कल रात पुंछ सेक्टर में लाइन ऑफ कंट्रोल पर आतंकवादी गतिविधि का पता चला. सतर्क सैनिकों ने तत्परता दिखाते हुए घुसपैठ करने वाले आतंकवादियों को घेर लिया. इसके बाद जबरदस्त गोलाबारी हुई. ऑपरेशन पूरे दिन चलता रहा.”
स्थानीय लोगों ने इलाके में कुछ संदिग्ध लोगों को देखे जाने की सूचना दी थी, जिसके बाद गुरुवार को सुरक्षा बलों ने जम्मू संभाग के डोडा जिले में बड़े पैमाने पर तलाशी अभियान चलाया.
डोडा ऑपरेशन से एक दिन पहले, सुरक्षा बलों ने आतंकवादियों के ओवर-ग्राउंड वर्करों (ओजीडब्ल्यू) का पता लगाने और उन्हें पकड़ने के लिए राजौरी जिले के 25 स्थानों पर तलाशी ली.
ओजीडब्ल्यू आतंकवादियों के लिए आंख और कान का काम करते हैं. वे उन्हें रसद सहायता प्रदान करते हैं, हथियार पहुंचाते हैं और सुरक्षा बलों की गतिविधियों पर नजर रखते हैं.
खुफिया एजेंसियों ने यह भी बताया कि ओजीडब्ल्यू आतंकवादियों के लिए उन इलाकों में आतंक फैलाने के लिए आसान और निहत्थे ठिकानों की पहचान करते हैं.
2024 में आतंकवादियों द्वारा कुछ कायराना हमलों के बाद सुरक्षा बलों ने आतंकवादियों के खिलाफ आक्रामक अभियान शुरू किया था.
20 अक्टूबर, 2024 को दो आतंकवादियों ने गांदरबल जिले के गगनगीर में एक इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनी के श्रमिकों के शिविर में घुसकर अंधाधुंध गोलीबारी की थी. इस हमले में इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनी के छह गैर-स्थानीय कर्मचारियों और एक स्थानीय डॉक्टर सहित सात नागरिक मारे गए थे.
2 नवंबर, 2024 को आतंकवादियों ने व्यस्त संडे मार्केट में एक ग्रेनेड फेंका था. इस हमले में तीन बच्चों की 42 वर्षीय मां की मौत हो गई थी और 11 अन्य नागरिक घायल हो गए थे.
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एसएचके/केआर