यूपी की सीमाओं से परे भी है अखिलेश यादव की नजर, सपा के विस्तार का तैयार कर रहे खाका

Lucknow, 10 नवंबर . उत्तर प्रदेश की राजनीति में मजबूती के साथ खड़ी Samajwadi Party अब दूसरे राज्यों की तरफ भी निगाहें गड़ाए हुए है. सपा मुखिया अखिलेश यादव ने इसके लिए प्रयास तेज कर दिए हैं.

उन्होंने बिहार चुनाव में जमकर मोर्चा संभाला, यहां पर इंडी गठबंधन को मजबूती देने के साथ अपनी पार्टी की जड़ों को भी मजबूत करने का प्रयास करते नजर आए. इसके बाद उन्होंने उड़ीसा के उपचुनाव में भी अपनी उपस्थिति दर्ज कर पार्टी को बल प्रदान करने की कोशिशें जारी रखी.

Political विश्लेषक बताते हैं कि Lok Sabha में सीटों के हिसाब से सपा देश की तीसरी सबसे बड़ी पार्टी तो बन ही गई है, लेकिन इसके साथ वोट प्रतिशत के लिहाज से भाजपा और कांग्रेस के बाद यह देश भर में सबसे ज्यादा वोट प्राप्त करने में कामयाब रही है.

इस कामयाबी के बाद भी सपा, राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा पाने की मंजिल से दूर है. Lok Sabha में Samajwadi Party (सपा) का कद बढ़ने के बाद उत्तर प्रदेश (यूपी) के पूर्व Chief Minister अखिलेश यादव पार्टी के फैलाव की दिशा में लगातार काम कर रहे हैं. इसी वजह से यूपी चुनाव के बाद जितने भी राज्यों में चुनाव हुए वहां पर सपा ने या तो भाग लिया है या फिर अखिलेश चुनाव प्रचार के लिए खुद गए हैं. वह Madhya Pradesh और Maharashtra में प्रचार करने पहुंचे हैं.

Haryana में गठबंधन की तस्वीर साफ न होने के कारण हिस्सेदारी नहीं की है. वरिष्ठ Political विश्लेषक सिद्धार्थ कलहंस का कहना है कि मुलायम सिंह के जमाने में जब सपा का गठन हुआ था, तभी से वह इसको राष्ट्रीय फलक पर स्थापित करना चाहते थे. इसी कारण उन्होंने अलग-अलग राज्यों में लोहिया और जेपी के आंदोलन से जुड़े लोगों को जोड़ने की कोशिश की, फिर चाहे Madhya Pradesh में रघु ठाकुर हों या Gujarat में बद्री विशाल पिट्टी हों. उड़ीसा में भक्त चरण दास भी पार्टी से जुड़े, लेकिन बाद में वह कांग्रेस में चले गए.

हालांकि पार्टी का ज्यादा फोकस यूपी में रहा है. 2024 के चुनाव में Lok Sabha में उम्मीद से ज्यादा सीटें मिलने के बाद अखिलेश यादव भी पार्टी का राष्ट्रीय विस्तार कर रहे हैं. वह अन्य राज्यों के विधानसभा चुनाव में उम्मीदवार उतार रहे हैं. पार्टी को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा मिले और इंडी गठबंधन में अपनी भूमिका को प्रभावी बना सके, इसके लिए वह लगातार प्रयासरत नजर आ रहे हैं.

Political विश्लेषक वीरेंद्र सिंह रावत का कहना है कि उत्तर प्रदेश की राजनीति में अपनी मजबूत पकड़ रखने वाले Samajwadi Party के अध्यक्ष अखिलेश यादव अब दूसरे राज्य की सीमाओं में भी अपनी नजरें जमाए हैं. उन्होंने पार्टी के संगठनात्मक विस्तार को लेकर अन्य राज्यों में अपनी सक्रियता बढ़ा दी है.

Odisha, बिहार, Jharkhand और उत्तराखंड में बीते दिनों उन्होंने यह संकेत दिया है कि सपा अब सिर्फ यूपी तक सीमित दल नहीं रहना चाहती. उन्होंने बताया कि Odisha के नौपाड़ा विधानसभा उपचुनाव में अखिलेश यादव ने जब सपा प्रत्याशी के समर्थन में रैली की तो उसमें जन समर्थन भी देखने को मिला.

अखिलेश यादव की रणनीति अब दोहरे मोर्चे पर चल रही है: एक ओर उत्तर प्रदेश में भाजपा के खिलाफ मजबूत गठजोड़ की तैयारी, तो दूसरी ओर वह देशभर में समाजवादी विचारधारा के जरिए पार्टी के विस्तार में लगे हैं.

सपा के प्रदेश प्रवक्ता अशोक यादव का कहना है कि राष्ट्रीय अध्यक्ष की मंशा है कि सपा को राष्ट्रीय पार्टी का दर्जा मिले. हम देश की तीसरी सबसे बड़ी पार्टी हैं, लेकिन चुनाव आयोग के नियमों के तहत हम अभी तक राज्यस्तरीय पार्टी ही हैं. इसी कारण चुनाव आयोग के नियम के अनुसार हम अपना वोट बैंक बढ़ाने में लगे हैं. इसी कारण राष्ट्रीय अध्यक्ष दूसरे राज्यों में जा रहे हैं. चाहे Madhya Pradesh हो, जम्मू कश्मीर हो या फिर उड़ीसा, सभी जगह कवायद जारी है. वहां के लोगों को हमारी नीतियां भी पसंद आ रही हैं.

विकेटी/एएस