श्रीनगर, 4 नवंबर . नेशनल कॉन्फ्रेंस के वरिष्ठ नेता और चरार-ए-शरीफ से सात बार के विधायक अब्दुल रहीम राथर को सोमवार को केंद्र शासित प्रदेश जम्मू-कश्मीर की विधानसभा का पहला अध्यक्ष चुना गया.
विपक्षी दलों द्वारा इस पद के लिए चुनाव न लड़ने का फैसला करने के बाद राथर को ध्वनि मत से अध्यक्ष चुना गया. चुनाव के बाद सदन के नेता उमर अब्दुल्ला और विपक्ष के नेता सुनील शर्मा ने अब्दुल रहीम राथर को विधानसभा अध्यक्ष की कुर्सी तक पहुंचाया. इस दौरान प्रोटेम स्पीकर मुबारक गुल और मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने अब्दुल रहीम राथर को बधाई दी.
सीएम अब्दुल्ला ने कहा, “माननीय अध्यक्ष महोदय मैं पूरे सदन की ओर से आपको बधाई देना चाहता हूं. इस पद की जिम्मेदारी लेने के लिए आप स्वाभाविक पसंद थे. आपने कभी पार्टी में रहकर तो कभी विपक्ष में रहकर लोगों की सेवा की है. अब आप सदन के संरक्षक के तौर पर विधानसभा का बेहतर तरीके से संचालन करेंगे. हमें उम्मीद है कि स्पीकर सत्ता पक्ष की बजाय विपक्ष की बेंचों पर अधिक ध्यान देंगे.”
वहीं विधानसभा में विपक्ष के नेता सुनील शर्मा ने उन्हें बधाई देते भरोसा दिलाया कि विपक्ष सदन का अनुशासन और मर्यादा बनाए रखेगा और इसके संचालन में अपेक्षित सहयोग करेगा.
राथर सातवीं बार विधायक बने हैं. उन्होंने 1977 में पहली बार विधानसभा चुनाव जीता था. वह 1983, 1987, 1996, 2002 और 2008 में भी विधायक रह चुके हैं. हालांकि, 2014 में वह हार गए थे.
जम्मू-कश्मीर में हाल में 90 सीटों पर हुए विधानसभा चुनाव में एनसी को 42 और भाजपा को 29 सीटें मिली थीं. एनसी के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ने वाली कांग्रेस को छह सीटें मिलीं. पीपुल्स डेमोक्रेटिक पार्टी (पीडीपी) को तीन सीटें मिलीं. माकपा, आम आदमी पार्टी (आप) और पीपुल्स कॉन्फ्रेंस (पीसी) को एक-एक सीट मिली जबकि सात निर्दलीय उम्मीदवार विजयी हुए. सात में से छह निर्दलीय भी एनसी में शामिल हो गए हैं.
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एकेएस/जीकेटी